रायपुर: छत्तीसगढ़ में अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक के ठिकानों पर तीसरे दिन भी भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) का छापा जारी रहा. एसीबी ने एडीजी और उनके संबंधियों के अलग अलग स्थानों पर छापा मारकर 10 करोड़ रुपये से अधिक की चल-अचल संपत्तियों का पता लगाया है.


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ब्यूरो के अधिकारियों ने शनिवार को यहां बताया कि भारतीय पुलिस सेवा के वरिष्ठ अधिकारी और राज्य पुलिस अकादमी के निदेशक जी पी सिंह के ठिकानों में तीसरे दिन भी छापा जारी रहा. अधिकारियों ने बताया कि जांच के दौरान एसीबी को सिंह के सहयोगियों रायपुर निवासी प्रीतपाल चाण्डोक, मणिशंकर, राजनांदगांव निवासी सीए राजेश बाफना और उड़ीसा स्थित ग्लोबल एसोसिएट्स के संबंध में जानकारी मिली थी.


बरामद हुई दो किलो सोने की पट्टी 
उन्होंने बताया कि सिंह के मित्र भारतीय स्टेट बैंक के शाखा प्रबंधक मणिभूषण के निवास स्थान पर एसीबी ने छापा मारकर एक-एक किलोग्राम सोने की दो पट्टी बरामद की है जिसकी कीमत लगभग एक करोड़ रुपये है. मणिभूषण ने जानकारी दी है कि सोने को सिंह ने उनके घर में रखवाया था.


अधिकारियों ने बताया कि एसीबी के दल ने सिंह के अन्य मित्र प्रीतपाल सिंह चंडोक के निवास की तलाशी ली. तलाशी के दौरान प्रीतपाल सिंह के शयन कक्ष से 13 लाख रुपए बरामद किया गया. प्रीतपाल ने जानकारी दी है कि जी पी सिंह ने 30 जून की रात में यह पैसा उनके घर में रखवाया था.


बरामद हुए 79 बीमा संबंधी दस्तावेज 
उन्होंने बताया कि एसीबी के एक दल ने राजनांदगांव निवासी चार्टर्ड एकाउंटेंट राजेश बाफना के प्रतिष्ठानों में तलाशी ली. इस दौरान वहां जी पी सिंह, उनकी धर्मपत्नी और पुत्र के नाम पर 79 बीमा संबंधी दस्तावेज मिले. उनमें सिंह के नाम पर विभिन्न कंपनियों की 24 पॉलिसी, उनकी पत्नी के नाम पर 23 पॉलिसी और पुत्र के नाम पर 32 बीमा पॉलिसी है. इस दौरान एक से अधिक एचयूएफ अकाउंट का पता चला है, जिसमें लगभग 64 लाख रुपये होने की जानकारी मिली है. 


17 बैंक खाते में मिली 60 लाख की राशि 
जांच में सिंह और उनके परिवार के सदस्यों के नाम पर कुल 17 बैंक खातों का पता चला है जिसमें 60 लाख रुपये से ज्यादा की राशि जमा है. इसी तरह एक से अधिक पीपीएफ खातों का पता चला जिनमें 10 लाख रुपये से अधिक की राशि जमा है. बैंक खातों और पीपीएफ खातों की संख्या में वृद्धि की संभावना है. सभी बैंकों से जानकारी ली जा रही है.


अधिकारियों ने बताया छापे के दौरान जानकारी मिली है कि विभिन्न कंपनियों ने अलग-अलग समय पर सिंह के परिवार के सदस्यों के बैंक खातों में एक करोड़ रुपए से अधिक की राशि जमा की गई है. आगे जांच पर इस राशि में बढ़ोतरी होने की संभावना है.


म्यूचुअल फंड में किया है बड़ा निवेश 
उन्होंने बताया कि सिंह और उनके परिवार के सदस्यों के नाम 69 अवसरों पर शेयर और म्युचुअल फंड में बड़ी राशि का निवेश करने की जानकारी मिली है. जिसमें तीन करोड़ से अधिक की राशि का निवेश किया गया है. सिंह के परिवार के सदस्यों के नाम हाईवा, जेसीबी, कंक्रीट मिक्सर वाहन मशीन की जानकारी मिली है जिनकी कीमत लगभग 65 लाख रुपये है.


एसीबी को मिली कई शहरों में फ्लैट और प्लॉट की जानकारी
अधिकारियों ने बताया कि अब तक की जांच में सिंह और उनके परिवार के सदस्यों के नाम से राज्य और राज्य के बाहर भूखंड, मकान और फ्लैट में बड़ी राशि निवेश करने की जानकारी मिली है. जांच में सिंह के नाम पर दो भूखंड और एक फ्लैट, उनकी पत्नी के नाम पर दो मकान, माता के नाम पर पांच भूखंड और एक मकान तथा पिता के नाम पर 10 भूखंड और दो फ्लैट कुल 23 अचल संपत्तियों की जानकारी मिली है.उनमें कुल 2.68 करोड़ रुपए की राशि का निवेश किया गया है.


मिली 49 लाख की भोग विलास की जानकारी 
उन्होंने बताया सिंह के निवास से करीब 49 लाख रुपए की जीवनोपयोगी विलासिता की वस्तुओं की जानकारी मिली है जिनमें डेढ़ दर्जन से अधिक लैपटॉप कम्प्यूटर, आई पैड और आला दर्जे के मोबाईल उपकरण शामिल हैं. साथ ही तीन लाख रुपए से अधिक नगद और दो लाख से अधिक मूल्य के स्वर्ण आभूषण मिले हैं.


अब तक पता चला है 10 करोड़ की संपत्ति का पता
अधिकारियों ने बताया कि अब तक की जांच में सिंह और उनके परिवार के सदस्यों के नाम पर 10 करोड़ रुपये से अधिक की चल-अचल संपत्तियों का पता चला है. चल-अचल संपत्तियों एवं निवेश की राशि में वृद्धि होने की संभावना है.


छत्तीसगढ़ में एसीबी ब्यूरो की टीम ने बृहस्पतिवार की सुबह अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक जीपी सिंह के 15 ठिकानों पर छापे की कार्रवाई शुरू की थी. ब्यूरो के अधिकारियों के मुताबिक सिंह के खिलाफ उनके आर्थिक अपराध ब्यूरो के कार्यकाल के दौरान अवैध वसूली, भयादोहन आदि के माध्यम से अनुपातहीन संपत्ति अर्जित करने की लगातार शिकायतें मिल रही थी जिसके आधार पर पूर्व में प्राथमिक जांच की गई थी.


उन्होंने बताया कि प्राथमिक जांच में सामने आए प्रमाणित तथ्यों के आधार पर सिंह के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया तथा बृहस्पतिवार सुबह उनके 15 स्थानों पर छापे की कार्रवाई शुरू की गई.


1994 बैच के हैं आईपीएस अधिकारी 
एडीजी जी पी सिंह भारतीय पुलिस सेवा के 1994 बैच के अधिकारी हैं. वर्तमान में वह राज्य पुलिस अकादमी के निदेशक हैं. छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की सरकार बनने के बाद सिंह एंटी करप्शन ब्यूरो के मुखिया भी रहे हैं. राज्य सरकार ने उन्हें पिछले वर्ष जून माह में हटा दिया था. सिंह के स्थान पर भारतीय पुलिस सेवा के वरिष्ठ अधिकारी आरिफ शेख को एसीबी का प्रमुख नियुक्त किया गया है.


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