बर्फबारी में भी कश्मीर से नहीं टूटेगा लद्दाख का संपर्क, जानिए जोजिला सुरंग की खासियत
जम्मू-कश्मीर को हर मौसम में लद्दाख से जोड़ने के मकसद से बनाई जा रही जोजिला सुरंग के निर्माण कार्य का सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी की अध्यक्षता वाली संसदीय समिति ने सोमवार को जायजा लिया.
नई दिल्लीः जम्मू-कश्मीर को हर मौसम में लद्दाख से जोड़ने के मकसद से बनाई जा रही जोजिला सुरंग के निर्माण कार्य का सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी की अध्यक्षता वाली संसदीय समिति ने सोमवार को जायजा लिया. गडकरी ने 13 सदस्यीय सलाहकार समिति के साथ सुरंग के निर्माण स्थल का दौरा करने के बाद संवाददाताओं से कहा कि यह ऐतिहासिक सुरंग परियोजना कश्मीर घाटी को कन्याकुमारी से जोड़ने के एक सपने का हिस्सा है.
क्या बोले नितिन गडकरी
गडकरी ने करीब 11,500 फुट की ऊंचाई पर निर्माण कार्यों का जायजा लेने के बाद कहा, ‘‘यह भारत के इतिहास में एक ऐतिहासिक एवं महत्वपूर्ण सुरंग है. इस सुरंग की लंबाई एशिया में सबसे अधिक रहने की संभावना है.’’ श्रीनगर-करगिल-लेह राजमार्ग पर यह सुरंग जोजिला दर्रे से होकर गुजरेगी.
सामरिक रूप से अहम है ये सुरंग
यह सुरंग परियोजना सामरिक नजरिये से काफी महत्वपूर्ण मानी जा रही है क्योंकि सर्दियों में भारी बर्फबारी के कारण राजमार्ग बंद हो जाता है जिससे लद्दाख क्षेत्र का कश्मीर घाटी से संपर्क टूट जाता है. जोजिला सुरंग कश्मीर के गांदरबल जिले में बालटाल को लद्दाख में करगिल जिले के द्रास कस्बे में मिनीमार्ग से जोड़ेगी.
13 किमी लंबी है सुरंग
सोनमर्ग से बालटाल तक 18 किलोमीटर लंबा संपर्क मार्ग है जबकि मुख्य सुरंग की लंबाई 13 किलोमीटर है. गडकरी ने जोजिला सुरंग का जिक्र करते हुए कहा कि इस परियोजना की अनुमानित लागत 12,000 करोड़ रुपये थी लेकिन विशेषज्ञों एवं अंतरराष्ट्रीय सलाहकारों के साथ चर्चा के बाद इसकी लागत में 5,000 करोड़ रुपये तक की कटौती करने में सफलता मिली है.
उन्होंने कहा, ‘‘यह हमारे देश के लिए पहला मौका है जब हम किसी परियोजना की अनुमानित लागत में 5,000 करोड़ रुपये की बचत करने जा रहे हैं. यहां पर काम करना बहुत मुश्किल है. लोग शून्य से 26 डिग्री सेल्सियस नीचे में काम कर रहे हैं.’’ गडकरी ने कहा कि इस सुरंग का 38 प्रतिशत काम पूरा हो चुका है और आम लोगों को राहत देने के लिए इस परियोजना के एक हिस्से का उद्घाटन इसी साल कर दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि परियोजना पूरी होने पर पूरे इलाके में पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा.
जोजिला सुरंग का निर्माण करने वाली कंपनी मेघा इंजीनियरिंग एंड इन्फ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड (एमईआईएल) के परियोजना प्रमुख हरपाल सिंह ने कहा कि इसका काम पूरी रफ्तार से चल रहा है. सिंह ने कहा, ‘‘सोनमर्ग से मिनीमार्ग तक इस परियोजना की कुल लंबाई 31 किलोमीटर है. सोनमर्ग से बालटाल तक 18 किलोमीटर लंबा मार्ग है और उसके बाद बालटाल से मिनीमर्ग तक मुख्य सुरंग 13 किलोमीटर की है.
दोनों परियोजनाओं पर तेजी से काम चल रहा है.” बाद में गडकरी ने जेड मोड़ सुरंग के निर्माण कार्य का भी जायजा लिया. उन्होंने इस सुरंग के इस साल अक्टूबर में शुरू होने की उम्मीद जताई. यह सुरंग गगनगीर को सोनमर्ग से जोड़ने का काम करेगी जिससे मध्य कश्मीर के गांदरबल जिले में हर मौसम के अनुकूल संपर्क सुविधा मिल सकेगी.
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