नई दिल्ली: देश की शीर्ष अदालत ने जम्मू कश्मीर के लोगों को आज बहुत महत्वपूर्ण शिक्षा दी है. सुप्रीम कोर्ट ने टिप्पणी की है कि जम्मू कश्मीर के लोगों को अब अतीत के बजाय भविष्य पर ध्यान देना चाहिए. सभी कश्मीरी अपने और देश की उन्नति का मार्ग पकड़ें और देश की प्रगति का महत्वपूर्ण हिस्सा बनें.


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अपना भविष्य संवारे घाटी के निवासी- सुप्रीम कोर्ट


सुप्रीम कोर्ट के जज जस्टिस संजय किशन कौल की अध्यक्षता वाली तीन सदस्यीय बेंच ने ये टिप्पणी करते हुए आगे कहा कि घाटी के लोगों को भविष्य देखना चाहिए न कि अतीत में जीना चाहिए. गौरतलब है कि जस्टिस संजय किशन कौल मूलतः जम्मू कश्मीर के ही रहने वाले हैं.


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आपको बता दें कि जम्मू-कश्मीर बार एसोसिएशन के अध्यक्ष मियां अब्दुल कय्यूम को हिरासत में रखने के खिलाफ दायर याचिका की सुनवाई के दौरान कोर्ट ने ये बात कही है.


कश्मीर का केवल कुछ हिस्सा ही अशांत, बाकी बहुत सुंदर- सर्वोच्च न्यायालय


सर्वोच्च न्यायालय ने जम्मू कश्मीर में आतंकवाद के खात्मे और वहां बढ़ रही शांति व्यवस्था पर टिप्पणी की है कि जम्मू कश्मीर का केवल कुछ हिस्सा ही अब अशांत बचा है. जस्टिस कौल ने यह भी कहा कि भारत में पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं. सरकार को इस दिशा में प्रयास करना चाहिए. हमें पता है कि कोरोना काल में हमारा यह कहना अजीब लग रहा होगा, लेकिन यह समय भी बीत जाएगा. सब कुछ ठीक हो जाएगा, भविष्य सुधरेगा.