नई दिल्ली: राजस्थान सरकार पर खतरे के बादल छाए हुए हैं. उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट को उनके दोनों पदों से कांग्रेस बर्खास्त कर दिया है. इससे ये स्पष्ट हो गया है कि कांग्रेस में युवा और प्रतिभाशाली नेताओं पर उम्रदराज बुजुर्ग नेता अब भी हावी हैं.


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मध्यप्रदेश में ज्योतिरादित्य सिंधिया के बाद सचिन पायलट के साथ बदसलूकी दर्शाती है कांग्रेस पूरी तरह गांधी परिवार तक ही सीमित रह गयी है. सचिन पायलट के साथ हुए इस बर्ताव पर कांग्रेस में ही सिर फुटव्वल शुरू हो गया है. शशि थरूर और जितिन प्रसाद समेत कई नेता पायलट के समर्थन में खुलकर उतर आए हैं.


शशि थरूर ने सचिन पायलट की मेहनत को सराहा



कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री शशि थरूर ने सचिन पायलट के समर्थन में लिखा है कि मैं सचिन पायलट के कांग्रेस पार्टी छोड़ने से दुखी हूं. मैं उन्हें अपना एक बेहतर और प्रतिभाशाली नेता मानता हूं. पार्टी से अपनी राह जुदा करने से बेहतर होता कि वो पार्टी को बेहतर और मजबूत बनाने की दिशा में काम करते. इससे उनके, हमारे सबके सपने पूरे होते.


जितिन प्रसाद ने भी सचिन पायलट का दिया साथ



पूर्व केंद्रीय मंत्री और गांधी परिवार के करीबी रहे जितिन प्रसाद ने भी सचिन पायलट का साथ दिया है. उन्होंने कहा कि मेहनत करने वाले नेताओं का सम्मान होना चाहिए. सचिन पायलट पार्टी के बहुत ऊर्जावान नेता हैं और हम दोनों बहुत अच्छे दोस्त हैं. सचिन पायलट के इस तरह जाने से मैं दुखी हूं. उन्हें पर्याप्त सम्मान देना चाहिए.


जितिन प्रसाद, शशि थरूर और संजय निरुपम के अतिरिक दबे स्वर में कई नेता अशोक गहलोत के बजाय सचिन पायलट का साथ दे रहे हैं. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से राजनैतिक लड़ाई में कांग्रेस ने सचिन पायलट से वो सब छीन लिया, जो पिछले 6-7 वर्षों में कड़ी मेहनत के दम पर उन्होंने हासिल किया था. हालांकि, कांग्रेस ने अभी तक सचिन पायलट को पार्टी से नहीं निकाला है, हालांकि सचिन पायलट पर कांग्रेस ने जो कार्रवाई की है, उससे पार्टी के कई नेताओं ने असंतोष जाहिर किया है.