Women T20 World Cup 2023: बाल-बाल बची इंग्लैंड की महिला टीम, बड़े हादसे में किस्मत ने बचाई जान
Women T20 World Cup 2023: साउथ अफ्रीका की मेजबानी में खेले जा रहे महिला टी20 विश्वकप के 8वें एडिशन में गुरुवार को जहां ऑस्ट्रेलिया की टीम ने भारतीय फैन्स का दिल तोड़कर एक बार फिर से फाइनल में जगह बना ली है तो वहीं पर केपटाउन में एक बड़ा हादसा होते-होते बचा है जिसमें दूसरे सेमीफाइनल में खेलने का इंतजार कर रही इंग्लैंड की महिला टीम की किस्मत ने जान बचाई है.
Women T20 World Cup 2023: साउथ अफ्रीका की मेजबानी में खेले जा रहे महिला टी20 विश्वकप के 8वें एडिशन में गुरुवार को जहां ऑस्ट्रेलिया की टीम ने भारतीय फैन्स का दिल तोड़कर एक बार फिर से फाइनल में जगह बना ली है तो वहीं पर केपटाउन में एक बड़ा हादसा होते-होते बचा है जिसमें दूसरे सेमीफाइनल में खेलने का इंतजार कर रही इंग्लैंड की महिला टीम की किस्मत ने जान बचाई है.
हादसे में बाल-बाल बची महिला खिलाड़ियों की जान
केपटाउन में 1086 मीटर ऊंचे पहाड़ से नीचे बसे शहर के बीच चलने वाली केबल वे कार पर इंग्लिश महिला क्रिकेटर्स सवार थी और तभी तकनीकी समस्या के चलते कुछ ऐसा हुआ जिसने उसमें सवार सभी लोगों की सांस रोक दी. इस भीड़ में महिला टी20 विश्वकप खेलने पहुंची इंग्लैंड की टीम के कुछ खिलाड़ी भी शामिल थे जो कि शहर पहुंचने की तैयारी में लगे हुए थे. केबल वे कार जब पहाड़ से शहर की ओर निकली तो पहले इसकी गति कंट्रोल में थी लेकिन अचानक ही इस कार ने अपना कंट्रोल खो दिया और तेजी से अपने गंतव्य की ओर जाने लगी.
हालांकि केबल कार अपने निर्धारित स्टेशन पर पहुंचने से थोड़ा पहले रुक गई और कोई भी बड़ी घटना नहीं हुई. इस केबल वे कार में सवार डैनी वायट ने कहा कि वो उस लम्हें को कभी नहीं भूल सकती और दोबारा कभी भी अपनी जान को इस तरह के जोखिम में नहीं डालना चाहेंगी.
डर के मारे खिलाड़ियों की निकल गई थी चीख
उन्होंने कहा,’ कल की बात करूं तो वहां पर कुछ तकनीकी दिक्कत चल रही थी जिसने मुझे केबल कार पर चढ़ने से पहले नर्वस कर दिया था और फिर जब वो चली तो उसने कंट्रोल खो दिया और झूलकर गई. ये काफी खौफनाक अनुभव था. मुझे नहीं लगता कि मैं अब दोबरा पहाड़ों पर जल्दी जाने वाली हूं. हम सभी उस वक्त जोर-जोर से चिल्ला रहे थे तो कई सारे लोग उस अनुभव से कांप रहे थे. मैं पहाड़ों पर करीब 7 साल पहले पहली बार गई थी और फिर मैं यहां गई हूं, लेकिन मुझे लगता है कि ये मेरा आखिरी है. मैं दोबारा केबल कार पर नहीं चढ़ूंगी, मैं सीढ़ियां ले लूंगी और उससे दूर ही रहूंगी.’
बिजली जाने की वजह से हुई दुर्घटना
वहीं पर डेनी वॉयट की साथी खिलाड़ी केट क्रॉस भी इस केबल कार में सवार थी जिन्होंने 3-5 किमी पैदल चलने के बजाय केबल कार से जाना चुना था. वॉयट ने साउथ अफ्रीका में बिजली की कमी को इस घटना के पीछे का प्रमुख कारण बताया जो कि साल 2007 से लगातार 10-12 घंटे प्रति दिन के ब्लैकआउट के रूप में नजर आती है.
इतना ही नहीं केबल वे भी करीब 94 साल पुरा है जिसे नियमित रूप से अपग्रेड कर आधुनिक बनाया जाता है. जब इंग्लिश खिलाड़ी दोपहर में टेबल माउंटेन से नीचे आ रहे थे तो वहां पर शाम 4 से 8:30 के बीच बिजली काटने का शेड्यूल था और यह घटना उसी दौरान हुई.
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