नई दिल्लीः यूपी बोर्ड ने अगले साल होने वाली परीक्षाओं के लिए उत्तर पुस्तिकाओं में कुछ बदलाव करने का फैसला लिया है. रिपोर्ट के अनुसार, साल 2023 में 10वीं और 12वीं की परीक्षा देने वाले छात्रों को बारकोड और मोनोग्राम वाली उत्तर पुस्तिकाएं दी जाएंगी.


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'मेधावी छात्रों के साथ होगा न्याय'
उत्तर पुस्तिकाओं में हेराफेरी की गुंजाइश खत्म करने के इरादे से बोर्ड ने यह पहल की है. यूपी बोर्ड के सचिव दिव्यकांत शुक्ला ने कहा कि उत्तर पुस्तिकाओं पर बारकोड और मोनोग्राम लगाने से हम छात्रों, विशेष रूप से मेधावी छात्रों के साथ न्याय करने में सक्षम होंगे. उनका कहना है कि सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता निष्पक्ष और पूरी तरह से पारदर्शी परीक्षा आयोजित करना है.


'नकल करने वालों पर कसेंगे शिकंजा'
बोर्ड बारकोड का इस्तेमाल करते हुए कुछ उत्तर पुस्तिकाओं की औचक जांच भी करेगा, जिससे नकल करने वालों पर और शिकंजा कसा जा सकेगा. अधिकारियों ने बताया कि 10वीं और 12वीं के परीक्षार्थियों के लिए बोर्ड ने सरकारी प्रेस को तीन करोड़ से ज्यादा उत्तर पुस्तिकाएं छापने का आदेश दिया है. इन उत्तर पुस्तिकाओं को जनवरी 2023 के अंत में बोर्ड परीक्षा के लिए सभी जिलों में भेजा जाएगा.


बोर्ड ने इसी वर्ष से प्रदेश के सभी जिलों को सिली हुई उत्तर पुस्तिकाएं भेजने का भी फैसला किया है, क्योंकि पिछले वर्षों में स्टेपल हटाकर कॉपियां बदलने की शिकायतें मिली थीं. 


31 लाख छात्र देंगे 10वीं की परीक्षा
नकल में शामिल गिरोह मेधावी छात्रों की उत्तर पुस्तिका के पहले पन्ने को बदलकर अन्य छात्र की उत्तर पुस्तिकाओं से जोड़ देता था. अब बोर्ड के द्वारा लिए गए फैसले से ऐसा करना असंभव होगा. आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, साल 2023 की परीक्षा के लिए 10वीं कक्षा के लिए कुल 31,16,485 और 12वीं कक्षा के लिए 27,50,913 छात्रों ने पंजीकरण कराया है.


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