ब्रसेल्स: यूरोपीय संघ के नेता करीब छह घंटे चली बैठक के बाद रूस पर और आर्थिक एवं वित्तीय प्रतिबंध लगाने पर सहमत हो गए हैं. यूरोपीय संघ परिषद के अध्यक्ष ने रूस पर यूक्रेन पर अपने आक्रमण को सही ठहराने के लिए ‘‘ झूठे और बेकार बहाने ’’ बनाने का आरोप लगाया और कहा कि प्रतिबंधों से रूसी सरकार को नुकसान होगा. इन प्रतिबंधों के कानूनी मसौदे को रात में अंतिम रूप दिए जाने और शुक्रवार को यूरोपीय संघ के सदस्य देशों के विदेश मंत्रियों के समक्ष अनुमोदन के लिए प्रस्तुत किए जाने की उम्मीद है. 


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यूरोपीय संघ आयोग की अध्यक्ष उर्सुला वॉन डेर लेयेन ने कहा कि इसमें 70 प्रतिशत रूसी बैंकिंग बाजार और प्रमुख सरकारी कम्पनियों को निशाना बनाना शामिल है. उन्होंने कहा कि रूस के ऊर्जा क्षेत्र को भी निशाना बनाया जाएगा जिससे उसके लिए ‘‘अपने तेलशोधक कारखानों को अद्यतन करना असंभव हो जाएगा’’. रूस को सॉफ्टवेयर, सेमीकंडक्टर्स आदि की बिक्री पर भी प्रतिबंध लगेगा.


एडिलेड (ऑस्ट्रेलिया)
ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री स्कॉट मॉरिसन ने चीन पर ऐसे समय में व्यापार प्रतिबंधों में ढील देकर रूस को बढ़ावा देने का आरोप लगाया, जब अधिकतर देश यूक्रेन पर रूस के आक्रमण को रोकने की कोशिश कर रहे हैं. ‘द साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट’ की एक खबर पर प्रतिक्रिया देते हुए प्रधानमंत्री मॉरिसन ने यह बयान दिया. खबर में दावा किया गया था कि चीन ने घोषणा की है कि वह रूसी गेहूं के आयात के लिए पूरी तरह तैयार है. मॉरिसन ने कहा कि ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका, ब्रिटेन, यूरोपीय संघ और जापान रूस पर प्रतिबंध लगा रहे हैं,तो ऐसे में चीन द्वारा व्यापार प्रतिबंधों में ढील देना अस्वीकार्य है.


तोक्यो
यूक्रेन पर हमले के जवाब में जापान ने रूस पर अतिरिक्त प्रतिबंध लगाने की घोषणा की है. जापान के प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा ने शुक्रवार को कहा कि नए उपायों में रूसी समूहों, बैंकों और लोगों की संपत्ति पर रोक लगाना और रूस में सैन्य संबद्ध संगठनों को अर्धचालक और अन्य जरूरी सामानों का निर्यात रोकना शामिल है.


संयुक्त राष्ट्र
यूक्रेन पर हमला करने की वजह से संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद द्वारा रूस की निंदा करने वाले प्रस्ताव पर शुक्रवार को मतदान होने की संभावना है. साथ ही प्रस्ताव में रूसी बलों की यूक्रेन से तत्काल वापसी की मांग भी की जाएगी. अमेरिका के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन के प्रशासन का मानना है कि इसे रूस द्वारा वीटो किया जा सकता है, लेकिन रूस को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अलग-थलग करने के लिए प्रस्ताव पर मतदान होना महत्वपूर्ण है.

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वाशिंगटन


अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने कहा है कि अगर रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन उत्तर अटलांटिक संधि संगठन (नाटो) देशों में घुसे, तो अमेरिका हस्तक्षेप करेगा. बाइडन ने जोर देकर कहा कि अगर उनके रूसी समकक्ष को अभी नहीं रोका गया, तो उनका हौसला बढ़ेगा. वहीं, व्हाइट हाउस ने यूक्रेन के अधिकारियों की एक ‘‘विश्वसनीय खबर’’ पर नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि, बंद पड़े चेर्नोबिल परमाणु संयंत्र के कर्मचारियों को रूसी सैनिकों द्वारा बंधक बना लिया गया है. व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव ने बृहस्पतिवार को कहा, ‘‘ हम इसकी निंदा करते हैं और कर्मचारियों को रिहा करने की अपील करते हैं.’’ इस परमाणु संयंत्र में अप्रैल, 1986 में दुनिया की सबसे भीषण परमाणु दुर्घटना हुई थी, जब एक परमाणु रिएक्टर में विस्फोट के बाद पूरे यूरोप में रेडियोधर्मी विकिरण फैल गया था.


ब्रेसल्स
फ्रांस के राष्ट्रपति कार्यालय के एक अधिकारी ने बताया कि फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों का पुतिन को फोन करने का उद्देश्य सैन्य अभियान तत्काल रोकने की मांग करना था. अधिकारी ने नाम उजागर ना करने की शर्त पर बताया कि रूस के खिलाफ प्रतिबंधों पर यूरोपीय संघ के नेताओं की आपात बैठक से पहले मैक्रों ने पुतिन को ब्रसेल्स से फोन किया था. उन्होंने बताया कि यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की से सलाह करने के बाद ही मैक्रों ने पुतिन को फोन किया था. अधिकारी ने बताया कि मैक्रों ने पुतिन को बताया, ‘‘ रूस पर कड़े एवं व्यापक प्रतिबंध लगने वाले हैं.’’ वहीं, क्रेमलिन की एक खबर के अनुसार, फोन पर हुई बातचीत के दौरान पुतिन और मैक्रों में सम्पर्क में रहने पर सहमति बनी है. 

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