यरुशलमः इजरायल ने पूर्वी यरुशलम में विवादित यहूदी बस्ती बनाने की योजना रोक दी है. यरुशलम नगर निकाय के अधिकारियों ने सोमवार को इस संबंध में फैसला लिया. पूर्वी यरुशलम में एक खाली पड़े हवाई अड्डे पर यह बस्ती बसाई जानी थी.


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इस परियोजना को लेकर अमेरिका के भारी विरोध के मद्देनजर एटारोट बस्ती बनाने की योजना को रोकने का निर्णय लिया गया. वहीं, फलीस्तीन भी इसकी खिलाफत कर रहा था.


दरअसल, घनी आबादी वाले फलस्तीनी समुदाय के तीन क्षेत्रों के पास एक खुले इलाके में यहूदियों के लिए 9,000 मकानों वाली बस्ती के निर्माण की योजना थी, जिनमें से एक इजरायल के विवादास्पद क्षेत्र के पीछे है. 


पर्यावरणीय प्रभाव का होगा अध्ययन
नगर निकाय के योजना आयोग ने कहा कि योजना काफी प्रभावी है, लेकिन इसकी मंजूरी से पहले एक पर्यावरणीय प्रभाव का सर्वे किया जाना चाहिए. इसमें बस्ती के निर्माण से पर्यावरण पर पड़ने वाले प्रभाव का अध्ययन होगा. 


इजरायली विदेश मंत्री ने दिए थे संकेत
डिप्टी मेयर फ्लेर हसन-नहौम ने कहा कि इस प्रक्रिया में लगभग एक साल लगने की उम्मीद है. प्रस्तावित बस्ती के समस्याग्रस्त स्थान का हवाला देते हुए बस्ती विरोधी समूह पीस नाउ ने योजना के खिलाफ एक सार्वजनिक अभियान चलाया था. इससे पहले सोमवार को इजरायल के विदेश मंत्री याइर लापिद ने संकेत दिया था कि इजरायल सरकार को योजना को मंजूरी देने की कोई जल्दी नहीं है. 


उन्होंने कहा, ‘‘इससे राष्ट्रीय स्तर पर निपटा जाएगा और हम जानते हैं कि इससे कैसे निपटना है. यह एक प्रक्रिया है और हम सुनिश्चित करेंगे कि यह (अमेरिकी) प्रशासन के साथ टकराव में न बदल जाए.’’ 


बाइडन प्रशासन बार-बार कर रहा था आलोचना
बाइडन प्रशासन ने बार-बार बस्ती निर्माण की आलोचना करते हुए कहा है कि यह शांति प्रक्रिया को फिर से शुरू करने में बाधा डालता है, लेकिन इजरायल ने बस्ती निर्माण की योजनाओं को आगे बढ़ाना जारी रखा.


बता दें कि वेस्ट बैंक और पूर्वी यरुशलम को लेकर इजरायल और फलस्तीन के बीच लंबे समय से विवाद है. दोनों देश इस पर अपना दावा करते हैं. 


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