मनीष ठाकुर/कुल्लू: हिमाचल प्रदेश के जिला कुल्लू के उपमंडल बंजार के तांदी गांव में आगजनी की घटना से कई लोग बेघर हो गए. आगजनी की घटना के कारण 10 करोड़ रुपये से अधिक की संपत्ति जलकर राख हो गई. ऐसे में जहां बुधवार को ही डीसी कुल्लू तोरूल एस रवीश को मौके पर पहुंचना चाहिए था, लेकिन वहां गुरुवार दोपहर तक कोई नहीं पहुंचा. इससे पता चलता है कि डीसी कुल्लू आम जनता के प्रति कितनी संवेदनशील हैं. 


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बंजार के विधायक सुरेंद्र शौरी ने डीसी कुल्लू पर असंवेदनशील होने का आरोप लगाते हुए कहा कि डीसी कुल्लू को वीरवार के दिन मौके पर पहुंचना चाहिए था और ग्रामीणों के दुख दर्द को समझना चाहिए था, लेकिन उन्हें तांदि के ग्रामीणों की कोई चिंता नहीं थी, बल्कि वह एक क्रिकेट मैच की चीफ गेस्ट बनकर मजा ले रही थीं. इससे पता चलता है कि कांग्रेस सरकार में अधिकारी किस तरह से असंवेदनशील हो रहे हैं. उन्हें आम जनता की कोई चिंता नहीं है.


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विधायक सुरेंद्र शौरी ने कहा कि जब आग की घटना हुई थी तब उन्होंने इस बारे में जिला प्रशासन को भी सूचित किया था. वह कुल्लू से खुद 2 घंटे में ही गांव पहुंचे, लेकिन गांव में आकर उन्होंने देखा कि यहां कोई प्रशासनिक अधिकारी नहीं पहुंचा था. वीरवार के दिन भी सभी अधिकारी मौके से नदारद रहे. ऐसे में जिला प्रशासन के रवैया से ग्रामीणों में भी खासा रोष है.


विधायक सुरेंद्र शौरी ने बताया कि बंजार विधानसभा की बात करें तो यहां 2 वर्षों से बाईपास का कार्य भी रुका हुआ है. अगर यह बाईपास का कार्य पूरा हो जाता है तो एक घंटा पहले अग्निशमन के वाहन मौके पर पहुंच जाते और कई घरों को जलने से बचाया जा सकता था. ऐसे में अब जल्द ही जनता के मुद्दों को लेकर असंवेदनशील बने हुए इन सभी अधिकारियों का घेराव भी किया जाएगा.


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