कोमल लता/मंडी: हिमाचल प्रदेश की मंडी लोकसभा सीट से कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व ने विक्रमादित्य सिंह को टिकट देकर भरोसा जताया है. बता दें, विक्रमादित्य सिंह राजघराने से तालुकात रखते हैं. मौजूदा समय में वह PWD मंत्री हैं. वह हिमाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के बेटे हैं. उनकी मां प्रतिभा सिंह कांग्रेस प्रदेश अध्यक्षा और मंडी लोकसभा सीट से सांसद हैं. 


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बिशप कॉटन स्कूल से की स्कूली पढ़ाई 
बता दें, विक्रमादित्य सिंह का जन्म 17 अक्टूबर 1989 को शिमला में हुआ. विक्रमादित्य सिंह की शुरुआती पढ़ाई हिमाचल प्रदेश के बिशप कॉटन स्कूल शिमला से हुई. इसके बाद उन्होंने दिल्ली यूनिवर्सिटी के सेंट स्टीफन कॉलेज से ग्रेजुएशन किया. यहां से ही उन्होंने हिस्ट्री में पोस्ट ग्रेजुशन की. राजनीति की शुरुआत उन्होंने 2013 से 2017 तक हिमाचल प्रदेश यूथ कांग्रेस के अध्यक्ष से की. 


ग्रामीण शिमला सीट से हासिल की जीत 
इसके बाद 2017 में विक्रमादित्य ने पहली बार शिमला ग्रामीण सीट से विधानसभा चुनाव लड़ा. इस दौरान उन्हें पूर्ण बहुमत से जीत हासिल हुई और वह विधायक बने. उसके बाद साल 2022 में उन्होंने अपने बीजेपी के प्रतिद्वंद्वी से 13 हजार की लीड से एक बार फिर ग्रामीण शिमला सीट से जीत हासिल की.


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हिमाचल प्रदेश में विक्रमादित्य सिंह की अच्छी-खासी लोकप्रियता है. प्रदेश के युवाओं में विक्रमादित्य सिंह को लेकर काफी उत्साह देखा जाता है. प्रदेश में अपनी बेबाकी से बात रखने के अंदाज से भी विक्रमादित्य सिंह को प्रदेश की जनता बखूबी जानती है.


विक्रमादित्य सिंह से लोगों को कई अपेक्षाएं
विक्रमादित्य सिंह को मंडी लोकसभा सीट से टिकट मिलने के बाद यहां लोगों में काफी उत्साह देखा जा रहा है. टिकट मिलने के बाद विक्रमादित्य सिंह ने मंडी लोकसभा सीट के लिए प्रचार-प्रसार शुरू कर दिया है. लोगों को विक्रमादित्य सिंह से कई अपेक्षाएं हैं. खास तौर पर युवा विक्रमादित्य सिंह से रोजगार की अपेक्षा कर रहे हैं. 


बेरोजगारी और गरीबी जैसी समस्याओं को किया जाएगा दूर- विक्रमादित्य सिंह 
विक्रमादित्य सिंह को समर्थन करने वाले लोगों ने कहा कि हम विक्रमादित्य सिंह में एक अच्छा नेता देखते हैं. उन्हें हम दिल्ली भेजना चाहते हैं ताकि वह हिमाचल प्रदेश की मंडी लोकसभा सीट की मूलभूत समस्याएं संसद में उठाएं. मंडी के लोग चाहते हैं कि बेरोजगारी और गरीबी जैसी समस्या दूर की जाए.


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लोगों से रहा भावनात्मक जुड़ाव 
वहीं विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि मंडी के विकास में कोई कमी नहीं रहेगी. मंडी से उनका पुराना रिश्ता है. उन्होंने कहा कि मंडी को समार्ट सिटी बनाना उनकी पहली प्राथमिकता रहेगी. साथ ही कहा कि वह मंडी के हर मुद्दे को मजबूती से केंद्र के समक्ष उठाएंगे. विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि वह बचपन से ही लोगों से जुड़े हुए थे. लोगों के साथ भावनात्मक रूप से उनका काफी जुड़ाव रहा है. उसी जुड़ाव के कारण वह आज प्रदेश में 2 बार विधायक और एक बार मंत्री बने हैं. उन्होंने कहा कि उन पर उनके पिता की छाप रही है.


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