मंडी में पति-पत्नी की कुएं में डूबने से नहीं बल्कि 11वीं सीढ़ी पर ऑक्सीजन की मात्रा शून्य होने से हुई मौत!
Mandi News: सरकाघाट उपमंडल में कुएं में डूबने से नहीं बल्कि कुएं की 11वीं सीढ़ी पर ऑक्सीजन की मात्रा शून्य होने से हई है. हालांकि, अभी जांच जारी है. फॉरेंसिक टीम द्वारा मौके से सैंपल लिए गए हैं.
Mandi News: मंडी जिला के सरकाघाट उपमंडल के तहत आने वाली ग्राम पंचायत रखोह के कलोह गांव में बीते बुधवार हुए दर्दनाक हादसे में पति-पत्नी की मौत के बाद गांव में गमगीन माहौल है. इस घटना के पीछे के कारणों का पता चलने पर स्थिति और भी गंभीर हो गई है.
अभी तक की गई जांच में इस बात का खुलासा हुआ है कि कुएं की 11वीं सीढ़ी में ही ऑक्सीजन का स्तर जीरो था. उसके बाद पानी भरने गए लोग बेहोशी की ओर बढ़ जाते थे. इसी बीच यह भी खुलासा हुआ है कि रखोह पंचायत के पूर्व प्रधान पंजाब सिंह तपवाल ने इस कुएं को जानलेवा मानकर नीचे जाने के बजाय ऊपर से ही पानी भरने के लिए इस वार्ड को पंजाब से खरीद कर एक हैंडपंप भी दिया था, जो आज भी किसी के घर में पड़ा हुआ है.
अगर हैंडपंप लगाया होता तो एक साथ दो अनमोल जिंदगियां बच जाती. वहीं पूरे मामले को लेकर एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें पुलिस और फोरेंसिक टीम के अधिकारी मौके पर जांच कर रहे हैं. वायरल वीडियो में पुलिस टीम द्वारा एक डंडे के आगे कागज का टुकड़ा लगाकर आग लगाई गई है, लेकिन जैसे ही कुछ सीढ़ियां नीचे उतरी गई तो आग अपने आप ही बुझ गई, तो इससे प्रतीत हो रहा है कि कुएं के समीप ऑक्सीजन की मात्रा शून्य है.
उधर, पंचायत उपप्रधान सुभाष चंद के अनुसार, गत वर्ष एनएच निर्माण के दौरान यह कुआं मिट्टी से भर गया था, जिससे गांव वासियों के सामने पानी की समस्या खड़ी हो गई थी. उस समय वार्ड सदस्य संजीव कुमार ने गांव वालों के साथ मिलकर इस कुएं का पुनर्निर्माण करवाया था, लेकिन दुर्भाग्यवश यह कुआं उनकी और उनकी पत्नी नीलम कुमारी की मौत का कारण बन गया. वही, जलशक्ति विभाग ने कुएं के पानी के नमूने लेकर जांच के लिए भेज दिए हैं, ताकि भविष्य में ऐसी दुर्घटनाओं से बचा जा सके.
मामले की पुष्टि करते हुए पुलिस अधीक्षक मंडी साक्षी वर्मा ने बताया कि फोरेंसिक टीम द्वारा मौके से सैंपल लिए गए हैं. फॉरेंसिक और पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद ही मौत के सही कारणों का खुलासा किया जा सकता है. पुलिस मामले को लेकर जांच कर रही है.
रिपोर्ट- नितेश सैनी, मंडी