McLeod Ganj News: तिब्बत संग्रहालय मैक्लोडगंज में तिब्बत के मैप पर आधारित लघु प्रदर्शनी का किया गया आयोजन
McLeod Ganj Latest News: तिब्बत संग्रहालय मैक्लोडगंज में तिब्बत के मैप पर आधारित लघु प्रदर्शनी का आयोजन किया गया.
The Tibet Museum: तिब्बत संग्रहालय मैक्लोडगंज में तिब्बत के मैप पर आधारित लघु प्रदर्शनी का आयोजन किया गया है. इस प्रदर्शनी में तिब्बत के 15वीं सदी से लेकर 21वीं सदी तक के तमाम उन मानचित्रों को दर्शाया गया है. जिसमें तिब्बत की क्षेत्रीय सीमाओं को साफ-साफ दर्शाया गया है. साथ ही जिसके साथ चीन इन दिनों छेड़छाड़ कर रहा है.
संग्रहालय के संचालक तेंजिन तोपतेन ने कहा कि प्रदर्शनी का मुख्य मकसद आज की पीढ़ी और सभी देशों के नागरिकों को तिब्बत की सीमाओं की सही और सटीक जानकारी प्रदान करना है. तेंजिन तोपतेन की मानें तो जिस तिब्बत का मानचित्र आज से 7 से 8 दशक पहले हुआ करता था. आज उस मानचित्र के साथ छेड़छाड़ करके चीन ने पांच भागों में विभाजित कर रखा है, जिसकी जानकारी आज की पीढ़ी को होना बेहद जरूरी है.
ऐसा इसलिए भी किया जा रहा है क्योंकि आज जब हमारे पिता और दादा अपने वक्त के मानचित्र को आज के वक़्त के मानचित्र के साथ कम्पेयर करते हैं तो उन्हें बेहद हताशा होती है. वहीं इस प्रदर्शनी का उद्घाटन करने पहुंचे MGIC ल्युस लाइब्रेरी वाशिंगटन अमेरिका के हैड त्सेरिंग वांगयल शावा ने कहा कि हालांकि इन मैप प्रदर्शनी में कोई खास बात नहीं है. जिसके बारे में वो यहां कुछ कहें मगर हां क्योंकि आज चीन से जिस तरह से तिब्बत की सीमाओं के साथ छेड़छाड़ करके मैकमोहन रेखा को भी मैप से गायब कर दिया है, जो कि ब्रिटिश इंडिया ने 14 मार्च 1940 को चीन और तिब्बत के बीच खींची थी, उसकी जानकारी आज की पीढ़ी को होना बहुत जरूरी है.
लेकिन तिब्बत के नये मैप में उसे नहीं दर्शाया जा रहा. जबकि पुराने मैप में वो सबकुछ नजर आता है. इसलिए इस प्रदर्शनी के माध्यम से ये दर्शाने का प्रयास किया जा रहा है कि असल में तिब्बत का क्षेत्रफल और सीमाएं कहां से कहां तक हैं और आज उसके साथ क्या हो रहा है.