Ranchi News: झारखंड में एक शख्स को अपनी बीवी की आपत्ति के बावजूद उसे बार-बार यौन संबंध बनाने के लिए मजबूर करना महंगा पड़ गया है.रांची की सिविल कोर्ट ने रणधीर वर्मा नामक व्यक्ति को दोषी करार देते हुए 10 साल कैद की सजा सुनाई है. साथ ही कोर्ट ने उस पर आर्थिक जुर्माना भी लगाया है.


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अपर न्यायायुक्त विशाल श्रीवास्तव की अदालत ने इस मामले में सुनवाई पूरी करने के बाद 26 सितंबर को अभियुक्त को दोषी करार दिया था. इसके फौरन बाद उसे गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था. आज यानी 30 सितंबर को कोर्ट ने सजा के बिंदु पर फैसला सुनाया. महिला ने इस मामले में पति के खिलाफ साल 2015 में कोतवाली थाना में एफआईआर दर्ज कराई थी.


क्या है पूरा मामला
मामले की सुनवाई के दौरान एपीपी सिद्धार्थ सिंह ने ठोस गवाही दर्ज कराई थी. गवाहों के बयान के आधार पर कोर्ट ने अभियुक्त को दोषी करार दिया. अभियुक्त के खिलाफ उसकी बीवी ने साल 2016 में दहेज प्रताड़ना मामले में भी सुखदेव नगर थाना में मुकदमा दर्ज किया गया था. इस मामले में भी अदालत ने उसे दोषी करार देते हुए अलग से तीन साल की सजा सुनाई है.


मैरिटल रेप पर छिड़ी बहस
गौरतलब है कि मैरिटल रेप के मामले में कर्नाटक हाईकोर्ट और दिल्ली हाईकोर्ट के दो फैसलों पर कानूनी बहस छिड़ी है. यह मामला सुप्रीम कोर्ट भी पहुंचा है. कई जनहित याचिकाएं इस मामले में दायर की गई हैं. 


इस आधार पर लिया गया है फैसला
सुप्रीम कोर्ट ने इन सभी को एक साथ मर्ज करके सुनवाई का निर्णय लिया है. 24 सितंबर को चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस जेबी परदीवाला और जस्टिस मनोज मिश्रा की बेंच में इसकी सुनवाई होनी थी, लेकिन केंद्र की तरफ से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने जवाब दाखिल करने के लिए एक हफ्ते का वक्त मांगा.