Hamas-Israel conflict: भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने ओमान के विदेश मंत्री बद्र अलबुसैदी से 28 अक्टूबर को बात की. उन्होंने 7 अक्टूबर को हमास के द्वारा इजराइल पर किए गए हमलों के बाद वेस्ट एशिया में बिगड़ते हालात पर भी बातचीत की. वहीं अलबुसैदी ने कहा कि उन्होंने गाज़ा में तत्काल सीजफायर की अहम जरूरियात पर जोर दिया.  उन्होंने इसे ‘‘अच्छी’’ बातचीत बताया.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

अलबुसैदी ने कहा कि इंटरनेशनल कानून का एहतराम करना सभी की जिम्मेदारी है. उन्होंने कहा, "मैंने गाजा में तत्काल संघर्ष विराम और जरूरी मानवीय सहायता पहुंचाए जाने की आवश्यकता पर जोर दिया. अंतरराष्ट्रीय कानून का सम्मान करना सभी का दायित्व है, ताकि हजारों आम नागरिकों की जान बचाई जा सके".


एस जयशंकर ने  कहा
जयशंकर ने कहा, "ओमानी विदेश मंत्री अलबुसैदी के साथ अच्छी बातचीत हुई. हमने द्विपक्षीय रिश्तों पर चर्चा की और वेस्ट एशिया में संकट पर विचारों का आदान-प्रदान किया".


विदेश मंत्री जयशंकर ने इससे पहले सऊदी अरब के विदेश मंत्री प्रिंस फैसल बिन फरहान और संयुक्त अरब अमीरात के विदेश मंत्री शेख अब्दुल्ला बिन जायद अल नाहयान के साथ पश्चिम एशिया की सूरत-ए-हाल पर बातचीत की थी.


इसराइली हमले में गाजा में 7 हजार से ज्यादा लोगों की गई जान  
 गाजा के स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, "हमास-शासित गाजा में इसराइली हमलों में 2,900 से ज्यादा नाबालिगों और 1,500 से ज्यादा महिलाओं समेत लगभग 7,000 फलस्तीनी मारे गए हैं. 


गौरतलब है कि, हमास ने 7 अक्टूबर को दक्षिणी इसराइल में हमला किया था, जिसके जवाब में इसराइल ने कई हवाई हमले किए. इस  जवाबी हवाई हमलों के मद्देनजर गाजा में आम लोगों की सूरत-ए-हाल को लेकर ग्लोबली चिंताएं बढ़ रही हैं. भारत ने 22 अक्टूबर को फलस्तीन के लोगों के लिए दवाओं और चिकित्सा उपकरणों सहित 38 टन से ज्यादा राहत सामग्री भेजी थी.