Vivek Ramaswamy: अमेरिका में ट्रंप और विवेक रामास्वामी आमने सामने आ गए थे . आपको बता दें अमेरिका में इस साल चुनाव होने वाले हैं. पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने आगामी राष्ट्रपति चुनाव के लिए रिपब्लिकन पार्टी की उम्मीदवारी की दौड़ में पहली बार विवेक रामास्वामी इस रेस में थे. आयोवा के रिपब्लिकन कॉकस में खराब प्रर्दशन के बाद 38 साल के रामास्वामी ने यह फैसला लिया, कि विवेक रामास्वामी अमेरिका राष्ट्रपति चुनाव नही लड़ेगे. बायोटेक एंटरप्रेन्योर  ने कहा कि वह चुनावी अभियान से बाहर है .


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रामास्वामी ने कहा, "मैं आज रात सच्चाई पर कायम रहूंगा. सच्चाई जोकि मेरे लिए काफी कठिन है, लेकिन मुझे स्वीकार करनी होगी. हमने इस बारे में हर तरह से सोचा समझा और मुझे लगता है, कि ये सच है. कि हम वो सरप्राइज नहीं कर पाए, जो हम आज रात देना चाहते थे."  


रामास्वामी ने दिया ट्रंप का साथ 
रामास्वामी ने पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को सपोर्ट  देने का ऐलान किया है. बता दे इससे पहले ट्रंप ने रामास्वामी की सार्वजनिक आलोचना की थी.  पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप  ने रामास्वामी पर आरोप लगाते हुए कहा था. 'रामास्वामी नामांकन हासिल करने के लिए कपट भरे हथकंडे अपना रहे थे.' रामास्वामी पर पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप  की  टिप्पणी सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हुई. रामास्वामी  के चुनावी कैंपन के दैरान लेगों की ओर से पहनी जाने वाली टी-शर्ट पर लिखे नारे से पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप  नाराज थे.  टी-शर्ट पर लिखा गया, 'सेव ट्रंप, वोट विवेक.'


अखिर क्या है, आयोवा कॉकस? 
कॉकस का आयोजन स्कूल, टाउन हॉल जैसी  जगहों पर किया जाता है, जहां पर उम्मीदवारों का चयन करने के लिए रजिस्टर्ड पार्टी से जुटते है. कॉकस में चुनाव लेने वाले लोग अपने डेलिगेट्स का चुनाव करते हैं, फिर ये अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन स्तर पर अपने उम्मीदवार के फेवर में मतदान करते है.


विवेक रामास्वामी क्यूं आये चर्चा?
विवेक रामास्वामी ने कहा था कि अगर वह देश के राष्ट्रपति बनते है तो,अमेरिका में जो भी गैरकानूनी रूप रह रहे है. मै उनको अमेरिका से बाहर निकाल दूंगा और बिल्कूल और हम अवैध प्रवासियों को बर्दाश्त बिल्कुल नहीं करेगे. साथ ही उनके बच्चों की नागरिकता अमेरिका से खत्म कर देंगे.