Kejriwal on Uniform Civil Code: दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने यूनिफार्म सिविल कोड (UCC) को लागू करने के लिए गुजरात में कमेटी बनाने के क़दम पर भारतीय जनता पार्टी (BJP) सरकार के इरादों पर सवाल उठाया है. उन्होंने कहा कि अगर पार्टी ऐसा करना चाहती है तो इसे पूरे देश में लागू किया जाना चाहिए. 


साल के आख़िर में है सकता है इलेक्शन


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केजरीवाल ने पूछा कि क्या बीजेपी की अगुआई वाली सेंट्रल गवर्नमेंट इस सिम्त क़दम उठाने के लिए लोकसभा इलेक्शन का इंतेज़ार कर रही है. आम आदमी पार्टी (AAP) के नेशनल कंवीनर अपने गुजरात दौरे के तीसरे दिन भावनगर में एक प्रेस कांफ्रेंस को ख़िताब कर रहे थे. इस साल के आख़िर में होने वाले असेंबली इलेक्शन के मद्देनज़र इलेक्शन कमिशन इस हफ्ते इलेक्शन की तारीख़ का ऐलान कर सकता है. गुजरात सरकार ने सनीचर को कहा था कि यूनिफार्म सिविल कोड को लागू करने के मक़सद से हाईकोर्ट के रिटायर जज की सरपरस्ती में एक कमेटी बनाने का फैसला किया गया है. मरकज़ी वज़ीर पुरुषोत्तम रूपाला ने कहा था कि इलेक्शन के लिए आदर्श आचार संहिता लागू होने से पहले कमेटी बनाई जाएगी.


उनकी मंशा ख़राब है


गुजरात के स्टेट होम मिनिस्टर हर्ष संघवी ने कहा था कि यह फैसला आईन (संविधान) के भाग-चार के अनुच्छेद-44 के प्रावधानों के मुताबिक़ लिया गया था, जो रियासत की सरकार से सभी शहरियों के लिए एक सा क़ानून लागू करने की उम्मीद करता है. गुजरात सरकार के फैसले पर पूछे गए एक सवाल के जवाब में केजरीवाल ने कहा, ‘‘उनकी मंशा ख़राब है’’ उन्होंने कहा, ‘‘संविधान के ऑर्टिकल- 44 में ये साफ़-साफ़ लिखा है कि यूनिफार्म सिविल कोड बनाना सरकार की ज़िम्मेदारी है. सरकार को ऐसा यूनिफार्म सिविल कोड बनाना चाहिए जिसमें सभी समुदाय के लोगों की रज़ामंदी शामिल हो.’’ 


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केजरीवाल ने किया हमला


केजरीवाल ने कहा कि बीजेपी ने उत्तराखंड असेंबली इलेक्शन से पहले भी इसी तरह की कमेटी बनाई थी. उन्होंने कहा, ‘‘भारतीय जनता पार्टी ने उत्तराखंड इलेक्शन जीतने से पहले एक कमेटी बनाई जो जीतने के बाद अपने घर चली गई. अब गुजरात के चुनाव से कुछ दिन पहले एक कमेटी बनाई और इसके मेम्बर भी चुनाव के बाद अपने घर चले जाएंगे.’’ 


पूरे देश में क्यों नहीं लागू करते?


केजरीवाल ने यह भी कहा कि बीजेपी सरकार वाली मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में ऐसी कोई कमेटी क्यों नहीं बनाई गई. उन्होंने पूछा, ‘‘अगर इनकी (BJP) नीयत यूनिफार्म सिविल कोड बनाने की है तो यह इसे पूरे देश में क्यों नहीं लागू करते? लोकसभा चुनाव का इंतज़ार कर रहे हैं क्या? 


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