China Maldives Ties: पिछले दिनों भारत और मालदीव के रिश्ते काफी खराब हुए हैं. इसके बाद मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू ने अपने द्वीप राष्ट्र से भारतीय सैन्य कर्मियों को बाहर करने के लिए कहा. इसके कुछ ही दिनों बाद चीन ने सोमवार को मालदीव के साथ "मजबूत" द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ावा देने की शुरूआत की. चीन ने मालदीव को मुफ्त सैन्य सहायता देने के लिए एक रक्षा सहयोग समझौते पर हस्ताक्षर किया. मालदीव के रक्षा मंत्री मोहम्मद घासन मौमून ने दोनों देशों के बीच रक्षा सहयोग बढ़ाने के लिए चीन के अंतर्राष्ट्रीय सैन्य सहयोग कार्यालय के उप निदेशक मेजर जनरल झांग बाओकुन से मुलाकात की.


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चीन ने मालदीव को दीं एंबुलेंस
मालदीव के रक्षा मंत्रालय ने अपने एक्स हैंडल पर पोस्ट किया, मौमून और मेजर जनरल बाओकुन ने "मालदीव गणराज्य को मजबूत द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ावा देने के लिए चीन के सैन्य सहायता के प्रावधान पर एक समझौते पर हस्ताक्षर किए." रक्षा सहयोग समझौते का विवरण नदीं दिया गया है. इस बीच, Edition.mv समाचार पोर्टल ने सोमवार को बताया कि चीन ने मालदीव को 12 पर्यावरण-अनुकूल एम्बुलेंस भी उपहार में दी हैं.


भारतीय सैनिकों को बाहर
आपको बता दें कि मालदीव राष्ट्रपति मुइज्जू, जिन्हें व्यापक रूप से चीन समर्थक नेता के रूप में देखा जाता है, ने अपने देश से भारतीय सैन्य कर्मियों के पहले समूह की वापसी के लिए 10 मार्च की समय सीमा तय की है. मालदीव सरकार के अनुसार, 88 भारतीय सैन्यकर्मी मुख्य रूप से दो हेलीकॉप्टर और एक विमान संचालित करने के लिए देश में हैं, जिन्होंने सैकड़ों चिकित्सा निकासी और मानवीय मिशनों को अंजाम दिया है. 


हार गए थे अब्राहिम
पिछले साल नवंबर में मुइज्जू के सत्ता में आने के बाद से दोनों देशों के बीच संबंधों में कुछ तनाव आ गया था. राष्ट्रपति के रूप में कार्यभार संभालने के बाद मुइज्जू ने कहा कि वह भारतीय सैन्य कर्मियों को अपने देश से बाहर निकालने के अपने चुनावी वादे को निभाएंगे. पिछले साल सितंबर में हुए राष्ट्रपति पद के चुनाव में मुइज्जू ने भारत के मौजूदा उम्मीदवार इब्राहिम मोहम्मद सोलिह को हराया था.