महबूबा मुफ्ती ने पीएम मोदी से की जम्मू-कश्मीर में शांति की राह तलाशने की अपील
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महबूबा मुफ्ती ने पीएम मोदी से की जम्मू-कश्मीर में शांति की राह तलाशने की अपील

मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने पाकिस्तान के नेतृत्व से भारत के साथ शांतिपूर्ण बातचीत की सार्थकता पर गौर करने की अपील की क्योंकि अतीत की लड़ाइयों से विनाश और मौत के सिवा कुछ हासिल नहीं हुआ.

जम्मू-कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती. (फाइल फोटो)

जम्मू/ श्रीनगर: जम्मू- कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से राज्य में शांति कायम करने के लिए आगे बढ़कर नेतृत्व करने की अपील की. उनका यह बयान पाकिस्तान की गोलाबारी में एक ही परिवार के पांच सदस्यों की मौत के बाद आया है. मुख्यमंत्री ने पाकिस्तान के नेतृत्व से भारत के साथ शांतिपूर्ण बातचीत की सार्थकता पर गौर करने की अपील की क्योंकि अतीत की लड़ाइयों से विनाश और मौत के सिवा कुछ हासिल नहीं हुआ.

महबूबा ने गोलाबारी में मारे गए पांच लोगों के परिजन से भी मुलाकात की
मुख्यमंत्री ने मेंढर के भिंबर गली सेक्टर में लोगों को संबोधित करते हुए बताया कि जब वह प्रधानमंत्री से आखिरी बार मिली थी तो उन्होंने उनसे बड़े भाई की भूमिका निभाते हुए पाकिस्तान को शांतिपूर्ण बातचीत के लिए राजी करने और गरीबी और बेरोजगारी के खिलाफ संयुक्त रूप से काम करने का आग्रह किया था. महबूबा ने रविवार के गोलाबारी में मारे गए पांच लोगों के परिजन से भी मुलाकात की. मुख्यमंत्री ने उनसे सभी तरह की मदद और पुनर्वास का आश्वासन दिया एवं मौके पर ही अनुग्रह राशि और अन्य राहत सामग्री का वितरण किया.

भारत ने PAK के उप-उच्चायुक्त को किया तलब, सीजफायर उल्लंघन पर जताया कड़ा विरोध

वहीं केंद्र से सभी पक्षों के साथ राजनीतिक वार्ता की प्रक्रिया शुरू करने का आह्वान करते हुए माकपा के महासचिव सीताराम येचुरी ने सोमवार को कहा कि जम्मू- कश्मीर को महज कानून- व्यवस्था से जोड़कर देखना अग्रगामी कदम नहीं है.

भारत ने दर्ज कराया विरोध
बता दें भारत ने पाकिस्तानी सेना की ओर से जम्मू कश्मीर में भारतीय क्षेत्र में बिना उकसावे की गोलीबारी में पांच निर्दोष नागरिकों के मारे जाने पर पाकिस्तान के उप उच्चायुक्त सैयद हैदर शाह को तलब किया और गहरा विरोध दर्ज कराया . सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, साल 2018 में अब तक नियंत्रण रेखा पर पाकिस्तान सैन्य बलों की ओर से 560 बार ऐसे संघर्ष विराम का उल्लंघन किया जा चुका है जिसमें 23 भारतीय नागरिकों की मौत हुई है और 70 अन्य घायल हुए हैं . 

(इनपुट - भाषा)

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