पीएम मोदी-शी जिनपिंग की मुलाकात आज; चीनी सेना को उम्मीद- सैन्य रिश्तें होंगे बेहतर, सीमा पर बहाल होगी शांति
Advertisement

पीएम मोदी-शी जिनपिंग की मुलाकात आज; चीनी सेना को उम्मीद- सैन्य रिश्तें होंगे बेहतर, सीमा पर बहाल होगी शांति

चीनी सेना के प्रवक्ता कर्नल वु किआन ने बीजिंग में मीडिया से कहा कि दोनों तरफ के लोग चाहते हैं कि चीनी और भारतीय सशस्त्र बलों के बीच संबंधों में स्थिरता आए और सीमाओं पर शांति कायम रहे.

चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मुलाकात के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी. (फाइल फोटो)

वुहान: पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) ने गुरुवार (26 अप्रैल) को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच दो दिवसीय अनौपचारिक शिखर सम्मेलन दोनों सेनाओं के बीच संबंधों को स्थिर बना सकता है, सीमाओं पर शांति बनाए रखने में मदद कर सकता है और मतभेदों को सुलझा सकता है. चीनी सेना के प्रवक्ता कर्नल वु किआन ने बीजिंग में मीडिया से कहा कि दोनों तरफ के लोग चाहते हैं कि चीनी और भारतीय सशस्त्र बलों के बीच संबंधों में स्थिरता आए और सीमाओं पर शांति कायम रहे.

  1. दोनों नेताओं की मुलाकात से सीमाओं पर शांति बहाली की उम्मीद.
  2. डोकलाम में 73 दिनों तक चला था दोनों देशों में तनाव.
  3. चीन के डोकलाम में सड़क निर्माण को लेकर भारत ने दर्ज कराया था विरोध.

मोदी और शी के बीच शुक्रवार (27 अप्रलै) से यहां दो दिवसीय अनौपचारिक शिखर सम्मेलन होना है. इस दौरान दोनों देशों के बीच संबंधों में सुधार के लिए दोनों नेताओं के बीच आमने-सामने की बैठक में सीमा मुद्दा तथा पिछले साल हुए डोकलाम गतिरोध जैसे मुद्दे उठ सकते हैं.

पारस्परिक विश्वास को मजबूत करने का मौका
कर्नल वु ने कहा, ‘‘भले ही दोनों सेनाओं के बीच संबंधों में कुछ कठिनाइयां और बाधाएं हैं, हम आपसी समझ को गहरा करने, पारस्परिक विश्वास को मजबूत करने, मतभेदों को अच्छी तरह से सुलझाने और दोनों सेनाओं के बीच संबंधों के स्वस्थ एवं स्थिर विकास की सकारात्मक ऊर्जा के लगातार दोहन के लिए दिशा-निर्देश के रूप में दोनों देशों के नेताओं की महत्वपूर्ण आम सहमति का इस्तेमाल करना चाहते हैं.’’

डोकलाम गतिरोध के बाद दोनों देशों में आया था तनाव
वह मोदी-शी के बीच शिखर सम्मेलन से उम्मीदों और रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण तथा उनके चीनी समकक्ष जनरल वेई फेंग के बीच बैठक के परिणामों के बारे में पूछे गए एक सवाल का जवाब दे रहे थे. कर्नल वु की टिप्पणी काफी महत्वपूर्ण है क्योंकि राष्ट्रपति शी चीन की सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी और चीनी सेना पीपुल्स लिबरेशन आर्मी के प्रमुख हैं. शी चीन के केंद्रीय सैन्य आयोग के भी अध्यक्ष हैं. पिछले साल डोकलाम गतिरोध के चलते दोनों देशों के बीच संबंधों में तनाव आ गया था.

पीएम मोदी का पहले दिन का कार्यक्रम
मोदी व शी आज (शुक्रवार) दिन के भोजन के बाद अकेले में बैठक करेंगे. दोनों नेता शुरू में हुबई प्रांतीय संग्रहालय जाएंगे जहां बड़ी संख्या में एतिहासिक व सांस्कृतिक निशानियां मौजूद हैं. इसके बाद दोनों नेता वार्ता करेंगे जिसमें दोनों ओर से छह - छह आला अधिकारी भाग लेंगे. दोनों नेता चर्चित ईस्ट लेक के किनारे रात्रि भोज करेंगे जो कि चीन के क्रांतिकारी नेता माओत्से तुंग का पसंदीदा अवकाश गंतव्य रहा है.

चीन में पीएम मोदी का दूसरे दिन का कार्यक्रम
शनिवार को दोनों नेता झील के किनारे टहलेंगे , बोट में यात्रा करेंगे और भोज करेंगे. दोनों नेताओं ने अपनी अनौपचारिक बैठकों की शुरुआत 2014 में की जब शी भारत गए और मोदी ने उनकी आगवानी गुजरात के साबरमति आश्रम में की. उसके बाद से दोनों नेता दर्जन भर अंतरराष्ट्रीय बैठकों में मिल चुके हैं. लेकिन यह इनके बीच दिल से दिल तक की बातचीत का अनौपचारिक शिखर सम्मेलन होगा.

Trending news