मालदीव : SC ने 12 सांसदों को किया सस्पेंड, राष्ट्रपति यामीन को मिला बहुमत
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मालदीव : SC ने 12 सांसदों को किया सस्पेंड, राष्ट्रपति यामीन को मिला बहुमत

कोर्ट ने यामीन के विरोधी 12 सांसदों को निलंबित कर दिया. कोर्ट का यह फैसला मालदीव के संसद में मतविभाजन से पहले आया है.

मालदीव की अदालत ने 12 विद्रोही सांसदों को निलंबित किया.(प्रतीकात्मक फोटो)

माले : मालदीव में सुप्रीम कोर्ट ने जो फैसला सुनाया उसके बाद वहां के राष्ट्रपति यामीन को संसद में बहुमत मिल गई. कोर्ट ने यामीन के विरोधी 12 सांसदों को निलंबित कर दिया. कोर्ट का यह फैसला मालदीव के संसद में मतविभाजन से पहले आया है. इन सांसदों के निलंबन से पहले यामीन की पार्टी अल्पमत में थी. गौरतलब है कि मालदीव में आपातकाल लागू होने से वहां पर संकट गहराया हुआ है.

  1. मालदीव के कोर्ट ने सत्तारूढ़ पार्टी छोड़ने वाले 12 सांसदों को किया निलंबित
  2. कोर्ट ने एक फरवरी को 12 लोगों को सांसद के रूप में बहाल करने की बात कही थी
  3. SC के फैसले के बाद राष्ट्रपति यामीन की पार्टी को मिली बहुमत

मतविभाजन से पहले कोर्ट का बड़ा फैसला
सुप्रीम कोर्ट ने एक अहम संसदीय मतविभाजन से पहले विरोधी समर्थक 12 सांसदों को निलंबित कर दिया जिससे राष्ट्रपति अब्दुल्ला यामीन को मजबूती मिली. सुप्रीम कोर्ट का यह फैसला रविवार को देर रात आया. इसमें उसने सत्तारूढ़ पार्टी से हटने वाले सांसदों की सदस्यता बहाल करने का अपना मूल फैसला पलट दिया. यह फैसला ऐसे समय में आया जब संसद देश में आपातकाल लगाने की यामीन की घोषणा का अनुमोदन करेगी. आपातकाल ने मालदीव को संकट में डाल दिया है.

कोर्ट के फैसले से यामीन को मिली बहुमत 
अदालत ने एक फरवरी को सत्तारूढ़ पार्टी छोड़ने वाले 12 लोगों को सांसद के रूप में बहाल करने की बात कही थी इससे यामीन की पार्टी अल्पमत में आ गई थी. लेकिन, अब संसद में यामीन की पार्टी को बहु्मत मिल गई है, क्योंकि कोर्ट ने यामीन के विरोधी पार्टी से 12 सांसदों को सस्पेंड कर दिया है. अदालत के इस नवीनतम कदम से यामीन की पार्टी को 85 सदस्यीय संसद में बहुमत मिल गया. सुप्रीम कोर्ट के तीन न्यायाधीशों की पीठ ने कहा कि अटार्नी जनरल की अपील के बाद वह सांसदों की बहाली के अपने एक रवरी का आदेश निलंबित कर रहा है.

आपातकाल के बाद देश में राजनीतिक संकट
मालदीव में आपातकाल लागू होने के बाद राजनीतिक संकट गहरा गया था. इस समस्या का समाधान करने के लिए पूर्व राष्ट्रपति मोहम्मद नाशीद ने एक अखबार के माध्यम से भारत से सहयोग मांगा था. आपातकाल लागू होने के एक दिन बाद मालदीव के सुप्रीम कोर्ट ने 9 हाई प्रोफाइल राजनीतिक बंदियों को रिहा करने का अपना आदेश वापस ले लिया था. राष्ट्रपति यामीन और कोर्ट में टकराव हो गया था, यामीन ने कोर्ट के फैसले को मानने से इनकार कर दिया था, जिसके बाद देश में राजनीतिक संकट आ गया और यहां की जनता सड़क पर उतरकर जगह-जगह विरोध प्रदर्शन करने लगी थी. 

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