अमेरिकी विमानों को निशाना बना रहा है चीन, लेजर हथियारों से कर रहा है वार!
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अमेरिकी विमानों को निशाना बना रहा है चीन, लेजर हथियारों से कर रहा है वार!

प्रवक्ता ने कहा कि हालांकि, इस तरह की घटनाओं में कोई घायल नहीं हुआ है. 

अमेरिकी विमानों को निशाना बना रहा है चीन, लेजर हथियारों से कर रहा है वार!

वाशिंगटन: अमेरिका की एक सैन्य अधिकारी का कहना है कि सितंबर 2017 के बाद से अब तक 20 तरह की अलग-अलग घटनाओं में अमेरिकी विमानों को निशाना बनाने के लिए लेजर हथियारों का इस्तेमाल किया गया. सेना की प्रवक्ता ने नाम उजागर नहीं करने की शर्त पर शुक्रवार को सीएनएन को बताया कि ये लेजर किरणें अमेरिकी विमानों पर फ्लैश की गई और इसमें चीन का हाथ होने का अंदेशा है. अधिकारी ने कहा कि ताजा घटना बीते दो सप्ताह के भीतर हुई है. 

प्रवक्ता ने कहा कि हालांकि, इस तरह की घटनाओं में कोई घायल नहीं हुआ है. अधिकारी ने सीएनएन को बताया कि इस बात की पुष्टि नहीं हुई है कि प्रशांत क्षेत्र में इस्तेमाल में लाए गए लेजर हथियार सैन्य थे या व्यावसायिक लेकिन यकीनन इससे पायलट को नुकसान पहुंच सकता था. हालांकि, इस मामले पर शुक्रवार को नियमित प्रेस ब्रीफिंग में चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गेंग शुआंग ने कहा: "प्रासंगिक अधिकारियों से हमे जो पता चला, उसके मुताबिक, अमेरिकी मीडिया द्वारा दी गई रिपोर्टों में आरोप पूरी तरह से बेबुनियाद और बनाए गए हैं. 

विवादित क्षेत्र
संदिग्ध लेजर हमलों का नवीनतम दौर पूर्वी चीन सागर के आसपास है, जो विवादित द्वीप श्रृंखलाओं का घर माना जाता है. इसमें सेनकाकू समेत जापान और चीन दोनों ने दावा किया है, जहां उन्हें दीओयू के नाम से जाना जाता है. इस क्षेत्र का पानी भारी यातायात- शिपिंग लेन के पास है और इसका इस्तेमाल चीन और जापान दोनों द्वारा किया जाता है. 

(इनपुट भाषा से भी)

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