Income Tax Return: इस साल इनकम टैक्स नियमों में कई प्रकार के बदलाव किए गए हैं. जिसका सीधा असर भारत के कई लोगों पर पड़ेगा. नए टैक्स स्लैब भी लागू किए गए हैं, जिससे सरकार का कहना है कि इससे कई टैक्सपेयर्स को फायदा होगा. विशेष रूप से नई कर व्यवस्था डिफॉल्ट टैक्स व्यवस्था में बदली जा चुकी है, जब तक कि टैक्सपेयर्स इनकम टैक्स  रिटर्न (आईटीआर) दाखिल करते समय पुरानी व्यवस्था नहीं चुनता. इन बदलावों की घोषणा वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इस साल अपने बजट भाषण में की थी. इसके साथ ही इस बार बजट में कई नियमों में बदलाव किए गए थे, जिसका असर इनकम टैक्स रिटर्न पर भी देखने को मिलता है. आइए जानते हैं आखिर बजट 2023 में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने किन बदलावों का ऐलान किया था.


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एलटीए (Leave Travel Allowance)
गैर सरकारी कर्मचारियों के लिए एलटीए में एक निश्चित सीमा तक छूट है. 2002 से यह सीमा 3 लाख रुपये थी और अब इसे बढ़ाकर 25 लाख रुपये कर दी गई है.


म्यूचुअल फंडों पर कोई एलटीसीजी टैक्स लाभ नहीं
डेट म्यूचुअल फंड में निवेश पर अल्पकालिक पूंजीगत लाभ के रूप में टैक्स लगाया जाएगा. इस कदम से निवेशकों को दीर्घकालिक टैक्स लाभ से वंचित कर दिया जाएगा, जिसने ऐसे निवेशों को लोकप्रिय बना दिया था.


मार्केट लिंक्ड डिबेंचर (एमएलडी)
मार्केट लिंक्ड डिबेंचर (एमएलडी) में निवेश अल्पकालिक पूंजीगत संपत्ति होगी. इससे पहले के निवेशों की ग्रैंडफादरिंग खत्म हो जाएगी और म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री पर इसका असर भी देखने को मिल सकता है.


जीवन बीमा पॉलिसियां
5 लाख रुपये के वार्षिक प्रीमियम से अधिक जीवन बीमा प्रीमियम से होने वाली आय नए वित्तीय वर्ष यानी 1 अप्रैल 2023 से टैक्स योग्य होगी. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट 2023 पेश करते हुए घोषणा की कि नया आयकर नियम यूलिप पर लागू नहीं होगा.