मूडीज को मोदी सरकार से उम्मीद, राजकोषीय घाटा कम करने पर रहेगी नजर
अमेरिकी रेटिंग एजेंसी मूडीज ने 2017 में भारत की रेटिंग ‘बीएए3’ से बढ़ाकर ‘बीएए2’ कर दिया था.
नई दिल्ली: रेटिंग एजेंसी मूडीज ने गुरुवार को कहा कि भारत की वित्तीय साख के बारे में उसका दृष्टिकोण नई सरकार की नीतियों पर निर्भर करेगा. उसने उम्मीद जतायी कि देश राजकोषीय घाटे को कम करने की योजना पर निरंतर आगे बढ़ता रहेगा. मूडीज इनवेस्टर सर्विस के उपाध्यक्ष (सोवरेन रिस्क ग्रुप) विलियम फोस्टर ने कहा, ‘‘भारत के आम चुनावों के नतीजे का वित्तीय साख निर्धारण पर प्रभाव अगले कुछ साल में सरकार द्वारा अपनायी गयी नीतियों पर निर्भर करेगा....’’ मूडीज को उम्मीद है कि नीति में राजकोषीय मजबूती पर जोर बना रहेगा. अब तक के रूझानों के अनुसार भाजपा नीत राजग पूर्ण बहुमत के साथ केंद्र में लगातार दूसरी बार सरकार बनाएगी.
अमेरिकी रेटिंग एजेंसी मूडीज ने 2017 में भारत की रेटिंग ‘बीएए3’ से बढ़ाकर ‘बीएए2’ कर दिया. साथ ही परिदृश्य ‘सकारात्मक’ से ‘स्थिर’ कर दिया है. उसने यह भी कहा था कि सुधारों से बढ़ते कर्ज के स्तर को स्थिर रखने में मदद मिलेगी. सरकार ने फरवरी में अंतरिम बजट में राजकोषीय घाटा 2019-20 में 3.4 प्रतिशत रहने का अनुमान रखा जबकि मूल लक्ष्य 3.1 प्रतिशत था. वित्त वर्ष 2018-19 में यह 3.4 प्रतिशत रहा.