फर्र से पहुंच जाएंगे दिल्ली से नोएडा एयरपोर्ट...32 KM लंबे नए एक्सप्रेस वे से मिलेगी राहत
Noida Bypass Expressway: नई सड़क के डिजाइन का ड्राफ्ट जल्द तैयार होने की उम्मीद है. 32 किमी लंबे नए एक्सप्रेस-वे को दिल्ली बॉर्डर के नजदीक कालिंदी कुंज के पास सेक्टर-94 और सेक्टर-150 के बीच यमुना पुश्ता रोड के साथ बनाए जाने की प्लानिंग है.
नोएडा एयरपोर्ट की शुरुआत इस साल के अंत तक होने की उम्मीद की जा रही है. एयरपोर्ट से पहली फ्लाट इंडिगो एयरलाइन की शुरू होगी. ऐसे में नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस वे पर यात्रियों के बढ़ने वाले दबाव को ध्यान में रखकर वैकल्पिक रास्ता तैयार करने की तैयारी की जा रही है. इसी को लेकर नोएडा प्राधिकरण ने रेल इंडिया टेक्निकल एंड इकोनॉमिक्स सर्विस (RITES), एनएचएआई (NHAI) और सिंचाई विभाग के साथ यमुना किनारे नया एक्सप्रेस-वे बनाने के लिए स्टडी पूरी कर ली है. यह नई रोड नोएडा एक्सप्रेस -वे के बाईपास के रूप में काम करेगी.
15 जनवरी तक नई सड़क का ड्राफ्ट तैयार होने की उम्मीद
शहर की लगातार बढ़ती आबादी और भविष्य की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए नए रूट पर काम किया जा रहा है. उम्मीद की जा रही है कि आने वाली 15 जनवरी को नई सड़क के डिजाइन का ड्राफ्ट तैयार हो जाएगा. 32 किमी के नए एक्सप्रेस-वे को दिल्ली बॉर्डर के नजदीक कालिंदी कुंज के पास सेक्टर-94 और सेक्टर-150 के बीच यमुना पुश्ता रोड के साथ बनाए जाने की योजना है. इसके अलावा ग्रेटर नोएडा एंट्री प्वाइंट के पास से इसे यमुना एक्सप्रेस के साथ लिंक करने का प्लान है. इससे दिल्ली से नोएडा एयरपोर्ट आने-जाने वालों को सहूलियत होगी.
जून 2014 में शुरू किया गया था 11 किमी लंबा पुश्ता रोड
अभी नोएडा से ग्रेटर नोएडा के बीच दिल्ली से आने वालों के पास सफर करने के लिए एक मात्र विकल्प नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस वे है. सुबह और शाम के समय ट्रैफिक का दबाव बढ़ने पर वाहनों की लंबी कतारें लग जाती हैं. नोएडा एयरपोर्ट के शुरू होने के बाद एक्सप्रेस वे पर वाहनों का दबाव बढ़ना तय है. ऐसे में दिल्ली से नोएडा एयरपोर्ट जाने-आने वालों को इसका फायदा मिलेगा. आपको बता दें पुश्ता रोड का 11 किमी लंबे हिस्से को जून 2014 में जनता के लिए शुरू कर दिया गया था. हालांकि, इसकी खराब हालत के चलते वाहन चालक इस पर कम ही सफर करते हैं.
कमेटी की तरफ से 29 दिसंबर को सर्वे किया गया
पिछले साल नवंबर में हुई मीटिंग के बाद सीईओ संजय खत्री, एनएचएआई (NHAI), सिंचाई विभाग व राइट्स (RITES) अधिकारियों के नेतृत्व में नौ सदस्यीय समिति का गठन फिजिबलिटी रिपोर्ट तैयार करने के लिए किया गया था. इस समिति की तरफ से 29 दिसंबर को सर्वे किया गया, जिसमें प्रस्तावित एक्सप्रेस-वे को लेकर अलग-अलग पहलुओं से जांच की गई. संजय खत्री ने टाइम्स ऑफ इंडिया से बातचीत में कहा कि एनएचएआई (NHAI) से जमीन की जरूरत पर रिपोर्ट पेश करने के लिए कहा है, ताकि उन हिस्सों की पहचान की जा सके जिन्हें ऊंचा किया जाना चाहिए.
सिंचाई विभाग की तरफ से मौजूदा सड़क और जमीन की उपलब्धता पर रिपोर्ट तैयार की जाएगी. राइट्स (RITES) की तरफ से इसे डिजाइन किया जाएगा और अनुमानित लागत पर काम किया जा रहा है. नोएडा प्राधिकरण का सिविल डिपार्टमेंट प्रस्तावित सड़क को यमुना एक्सप्रेसवे के साथ जोड़ने की संभावना पर विचार कर रहा है. अगले हफ्ते तक ये सभी रिपोर्ट मिलने की उम्मीद है. इसके बाद कम्पाइल रिपोर्ट जनवरी के मध्य तक एनएचएआई (NHAI) चेयरमैन के सामने पेश की जाएगी. अधिकारियों की तरफ से दी गई जानकारी के अनुसार नए रूट से सेक्टर-128, 135, 150, 151 और 168 के साथ ही ग्रेटर नोएडा समेत दूसरे रेजिडेंशियल सेक्टर के लिए भी कनेक्टिविटी बढ़ेगी.