जमीन के नीचे इन गुफाओं में स्टोर है लाखों टन Crude Oil, इमरजेंसी में ऐसे आएगा काम

भारत सरकार ने कोरोना काल में जब कच्चे तेल के दाम अचानक कम हो गए थे, उस दौरान बड़ी मात्रा में तेल खरीद कर (Crude Oil Procurement) स्टोर कर लिया था.

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क्रूड ऑयल का स्टोर

इमरजेंसी के दौरान तेल की कमी न हो इसके लिए इसका स्टोर करके रखना भी जरूरी है. आपको बता दें कि भारत के बार केवल साढ़े 9 दिन की जरूरत पूरा करने लायक ही तेल स्टोर में रहता है.

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कच्चे तेल की खरीद

हमारी सहयोगी वेबसाइट ज़ी बिजनेस के अनुसार, भारत सरकार ने कोरोना काल में जब कच्चे तेल के दाम अचानक कम हो गए थे, उस दौरान बड़ी मात्रा में तेल खरीद कर (Crude Oil Procurement) स्टोर कर लिया था. (Image- isprlindia.com)

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कच्चे तेल की कीमत

इस साल अप्रैल-मई के दौरान अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतें नीचे चले जाने का लाभ उठाते हुए सरकार ने 1.67 करोड़ बैरल कच्चे तेल का भंडारण किया था. इस तेल की खरीद औसतन 19 डॉलर प्रति बैरल पर हुई थी. यह कीमत इस साल जनवरी में तेल की औसत 60 डॉलर प्रति बैरल की कीमत के मुकाबले काफी कम थी. (Image- isprlindia.com)

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तेल स्टोरेज क्षमता

इस दौरान सरकार ने कच्चा तेल खरीदकर जमीन के अंदर बनी बड़ी-बड़ी तीन गुफाओं स्टोर कर लिया था. इस खरीद से सरकार को 68.51 करोड़ डॉलर यानी 5,069 करोड़ रुपये की बचत हुई थी. (Image- isprlindia.com)

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भारत में तेल स्टोर की क्षमता

भारत सरकार देश में तो तेल का स्टोरेज करती ही है साथ ही तेल को स्टोर करके रखने के लिए कई और देशों के साथ भी समझौता किया हुआ है. सरकार ने अबूधाबी नेशनल ऑयल कंपनी के साथ तेल भंडार करने का समझौता किया है. इस समझौते में किसी भी इमरजेंसी के दौरान भारत के पास इस स्टोर कच्चे तेल को इस्तेमाल करने का पहला अधिकार होगा. (Image- isprlindia.com)

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जमीन के अंदर स्टोर होता तेल

तेल को स्टोर करने के लिए देश के अलग-अलग हिस्सों में जमीन के अंदर बड़ी भारी क्षमता वाली गुफाएं हैं. देश में इमरजेंसी समय के लिए तीन स्थानों पर जमीन के अंदर तेल स्टोरेज सुविधा विकसित की गई है. जमीन के अंदर बने इन भारी-भरकम गुफाओं में भारत तो अपना तेल स्टोर करता ही है, अन्य देशों को भी यहां तेल स्टोर करने के लिए किराये पर देता है.  (Image- isprlindia.com)

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तीन जगह हैं तेल की गुफाएं

भारतीय रणनीतिक पेट्रोलियम भंडार लिमिटेड (ISPRL) ने कर्नाटक के मंगलुरू और पद्दूर और आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम (Visakhapatnam) में जमीन के भीतर तीन भंडारण सुविधा विकसित की हैं. इन्हें तेल की सप्लाई और मांग में अंतर आने के दौरान कीमतों को स्थिर रखने के लिए तैयार किया गया है. विशाखापत्तनम के स्टोर की क्षमता 13 लाख टन है. (Image- isprlindia.com)

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मंगलुरू में तेल की गुफा

कर्नाटक के मंगलुरू (Mangalore) की भूमिगत सुविधा की भंडारण क्षमता 15 लाख टन है. अबूधाबी नेशनल ऑयल कंपनी ने अपना तेल भंडारित करने के लिए इसकी आधी क्षमता को पहले ही किराये पर लिया था. बाकी बची आधी क्षमता को भी उसने अप्रैल-मई में किराये पर ले लिया. (Image- isprlindia.com)

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कर्नाटक के पद्दूर की गुफा

कर्नाटक (Karnataka) के पद्दूर (Padur) स्टोर की भंडारण सुविधा की क्षमता सबसे अधिक है. इसकी कुल क्षमता 25 लाख टन है. अबूधाबी नेशनल ऑयल कंपनी ने नवंबर 2018 में इसकी भी आधी क्षमता को किराये पर लेने के लिए समझौता किया था लेकिन कभी यहां तेल स्टोर नहीं किया. (Image- isprlindia.com)

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तैयार हो रही है एक और गुफा

इन तीन स्टोरेज के अलावा ओडिशा के चंडीखोल (Chandikhol, Odisha) में भी जमीन के अंदर बड़ी गुफा तैयार की जा रही है. यह गुफा की स्टोरेज क्षमता सबसे ज्यादा 40 लाख टन की है.  (Image- isprlindia.com)

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