नई दिल्ली : देश के दूसरे सबसे बड़े पंजबा नेशनल बैंक (PNB) में 11,400 करोड़ रुपये के घोटाले की खबर सामने आने के बाद बैं की तरफ से गुरुवार को पहली बार कोई प्रतिक्रिया सामने आई है. उन्होंने बैंक की तरफ से सफाई पेश करते हुए कहा 'सभी जांच एजेंसिया इस पूरे मामले में हमारी मदद कर रही हैं.' उन्होंने कहा कि पीएनबी ने कई उतार चढ़ाव देखें हैं. बैंक गलत काम करने वालों के खिलाफ एक्शन ले रहा है. उन्होंने कहा कि सरकार के आदेश पर गलत काम करने वालों के खिलाफ कार्रवाई हो रही है. एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि बैंक ने इस पूरे मामले की जानकारी दी है और बैंक ने ही कर्मचारियों के खिलाफ केस दर्ज करवाया है. यह पूरा मामला साल 2011 से शुरू हुआ था. उन्होंने कहा कि 2011 से चल रहे इस कैंसर की सर्जरी कर रहे हैं.


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पीएनबी के एमडी ने कहा कि 31 जनवरी को हमने ही एफआईआर दर्ज कराई थी. 29 जनवरी को इस पूरे मामले की जानकारी दी थी. उन्होंने कहा पीएनबी क्लीन बैंकिंग के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है, इसीलिए हमने ही फर्जीवाड़े की खबर सबसे पहले दी. पीएनबी के एमडी के बयान के बाद कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि नीरव के खिलाफ दस्तावेज दिए गए पर कार्रवाई नहीं हुई. उन्होंने कहा कि नीरव देश छोड़कर भाग गया और सरकार ने कुछ नहीं किया.


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इससे पहले आभूषण डिजाइनर नीरव मोदी और कुछ अन्य के खिलाफ 280 करोड़ रुपये की मनी लांड्रिंग के आरोपों की जांच के सिलसिले में गुरुवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने देश में कई जगह छापेमारी की. यह कार्रवाई पंजाब नेशनल बैंक की शिकायत के आधार पर की जा रही है. आधिकारिक सूत्रों ने कहा कि तड़के शुरू हुई कार्रवाई में मुंबई, गुजरात और दिल्ली में कम से कम 10 जगह छापे डाले गए.


प्रवर्तन निदशालय के अधिकारियों ने जिन जगहों पर यह कार्रवाई की, उनमें मोदी का मुंबई के कुरला इलाके का घर, काला घोड़ा इलाके की डिजाइनर आभूषणों की दुकान, बांद्रा और लोअर परेल इलाके में कंपनी के तीन ठिकाने, गुजरात के सूरत में तीन ठिकाने और दिल्ली के डिफेंस कालोनी और चाणक्यपुरी इलाके में मोदी के शो-रूम शामिल हैं. प्रवर्तन निदेशालय ने मामले में सीबीआई में इस माह के शुरू में दर्ज एक प्राथमिकी (एफआईआर) के आधार पर मनी लांड्रिंग निरोधक अधिनिमय (पीएमएलए) के तहत मामला दर्ज किया है.


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समझा जा रहा है कि ईडी ने पीएनबी की ओर से मोदी और अन्य के खिलाफ प्रस्तुत की गई शिकायातों पर भी गौर किया है. सीबीआई ने नीरव मोदी, उसकी पत्नी और उसके एक भागीदार को बैंक के साथ 2017 में 280.70 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के मामले में नामजद किया है. प्रवर्तन निदेशालय की टीमों ने नीरव मोदी के भाई निशाल, पत्नी अमी और मेहुल चीनूभाई चोकसी तथा दो नामजद बैंक अधिकारी गोकुलनाथ शेट्टी और मनोज खराट के घरों पर भी तलाशी की. निशाल, अमी और मेहुल ये सभी डायमंड आर यूएस, सोलार एक्सपोर्ट्स और स्टेलर डामंड्स में भागीदार है. शेट्टी सेवानिवृत्त हो चुका है.


सीबीआई की प्राथमिकी में कहा गया है कि इन सरकारी (बैंक) अधिकारियों ने उपरोक्त फर्मों को धन का लाभ पहुंचाने के लिए अपने आधिकारिक पद का दुरुपयोग किया जिससे 2017 में पंजाब नेशनल बैंक को 280.70 करोड़ रुपये का गलत तरीके से नुकसान हुआ. बैंक ने यह भी शिकायत की है कि उसके यहां से धोखाधड़ी कर के आरोपी इकाइयों के पक्ष में या उनकी ओर से 16 जनवरी 2018 को कुछ साख-पत्र जारी किए गए.


इन इकाइयों ने बैंक की मुंबई स्थित संबंधित शाखा को आयात संबंधी कुछ दस्तावेज दिए थे और आवेदन किया था कि माल भेजने वाली विदेशी इकाइयों के भुगतान के लिए क्रेता की ओर से साख पत्र जारी कर दिए जाएं. सीबीआई को गुरुवार को पीएनबी की ओर से दो और शिकायतें मिलीं. इनमें बैंक ने अब कहा है कि नीरव मोदी और एक आभूषण कंपनी ने उसके साथ सौदों में 11,400 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की है.


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