Self Regulatory Organisation: रिजर्व बैंक ऑफ इंड‍िया (RBI) के ड‍िप्‍टी गवर्नर टी रबी शंकर ने कहा क‍ि फाइनेंस टेक्‍नोलॉजी (FinTech) के नए इको स‍िस्‍टम को देश के हितों के प्रति ‘सतर्क’ रहने की जरूरत है. शीर्ष बैंकर ने द‍िल्‍ली में सालाना ‘ग्लोबल फिनटेक फेस्ट’ को संबोधित करते हुए कहा कि वित्तीय प्रौद्योगिकी (फिनटेक) सेक्‍टर का अधिकांश हिस्सा वित्तपोषकों के उलट लाइसेंस के बगैर अनियमित है. उन्हें ‘जिम्मेदारी-भरे’ व्यवहार से लोगों का व‍िश्‍वास अर्ज‍ित करना होगा.


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देखना होगा कि संस्थाएं किस तरह व्यवहार करती हैं


शंकर ने कहा कि जैसे-जैसे फिनटेक सेक्‍टर मैच्‍योर हो रहा है, यह देखना होगा कि संस्थाएं किस तरह से व्यवहार करती हैं. उन्होंने संकेत दिया कि इन्हें बैंकों और एनबीएफसी जैसी विनियमित संस्थाओं की तरह व्यवहार करना होगा. यह ध्यान देने वाली बात है क‍ि कई प्रतिष्ठित फिनटेक कंपन‍ियों में चीन की कंपनियों की ओनरश‍िप रही है और अतीत में डिजिटल कर्जदाताओं में भी चीन की कंपनियों की भूमिका रही है.


सेल्‍फ रेग्‍युलेटरी आर्गेनाइजेशन की तरह काम करें
शंकर ने कहा, 'फिनटेक को सामाजिक और व्यापक आर्थिक हितों एवं प्राथमिकताओं के प्रति सचेत रहने की जरूरत है, न कि उन्हें व्यावसायिक हितों के अधीन करने की.' इससे पहले आरबीआई ने कहा था कि फिनटेक कंपनियों के एक निकाय को सेल्‍फ रेग्‍युलेटरी आर्गेनाइजेशन (SRO) के रूप में काम करने के ल‍िये लाइसेंस जारी किया गया है. ड‍िप्‍टी गवर्नर ने कहा कि फिनटेक के एसआरओ को यह तय करना होगा क‍ि उसके सभी मेंबर इसके अनुरूप का करें. उन्होंने एसआरओ से यह भी सुन‍िश्‍च‍ित करने के ल‍िए कहा क‍ि जानबूझकर कीमतो को कम रखने का तरीका न अपनाया जाए. (इनपुट-भाषा)