Anurag Kumar IAS: सफलता आसानी से नहीं मिलती. इसके लिए आपको अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए अडिग रहने की आवश्यकता है. आज हम आपके लिए अनुराग कुमार की सफलता की कहानी लेकर आए हैं जिन्होंने यह साबित कर दिया है कि सफलता कड़ी मेहनत और दृढ़ इच्छा शक्ति से ही मिलती है. इस युवा अधिकारी की कहानी के बारे में आपको जो आश्चर्य होगा वह यह है कि वह असफलता से नहीं बंधा था, बल्कि अपनी सफलता की कहानी लिखने के लिए खुद को शार्प करने के लिए इस विफलता का इस्तेमाल किया.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

अनुराग कुमार ग्रेजुएशन में फेल हो गए, लेकिन इस असफलता ने उन्हें सफलता की राह दिखाई और उन्होंने आईएएस अधिकारी बनने का फैसला किया. इस फैसले ने उनकी जिंदगी बदल दी. आपको जानकर हैरानी होगी कि अनुराग ने अपनी मेहनत से लगातार दो बार यूपीएससी की परीक्षा पास की और 2018 में 48वीं रैंक हासिल कर आईएएस अधिकारी बने.


12वीं और ग्रेजुएशन में मैथ्स में फेल
बिहार के कटिहार जिले के रहने वाले अनुराग कुमार ने एक हिंदी हिंदी मीडियम स्कूल से 8वीं तक पढ़ाई की है. जिसके बाद उन्हें अंग्रेजी मीडियम में भर्ती कराया गया और इस दौरान उन्हें काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा. अधिकारी का कहना है कि वह शुरू से ही एक औसत छात्र था, लेकिन एक बार जब वह कुछ करने की ठान लेता है तो उसे हासिल कर लेता है.


अनुराग कुमार ने अपनी कक्षा 10 की बोर्ड परीक्षा के लिए कड़ी मेहनत की और उसमें 90 फीसदी नंबर प्राप्त किए. हालांकि, 12वीं कक्षा में वह मैथ्स की प्री-बोर्ड परीक्षा में फेल हो गए. फिर उन्होंने एक अलग जोश के साथ तैयारी की और 90 फीसदी से ज्यादा नंबर के साथ पास हुए. इसके बाद उन्हें श्री राम कॉलेज ऑफ कॉमर्स, दिल्ली में एडमिशन मिल गया. लेकिन उसके लिए आगे की राह आसान नहीं थी. ग्रेजुएशन में वह कई विषयों में फेल हो गया। बाद में उन्होंने किसी तरह ग्रेजुएशन किया और पोस्ट ग्रेजुएशन कोर्स में एडमिशन लिया.


दो बार की UPSC परीक्षा पास
अनुराग कुमार फिर से अपनी पढ़ाई पर ध्यान देने लगे. पोस्ट ग्रेजुएशन के दौरान, उन्होंने यूपीएससी परीक्षा की तैयारी करने का फैसला किया. पीजी पूरा करने के बाद उन्होंने पूरी लग्न और मेहनत से यूपीएससी की तैयारी शुरू कर दी. उन्होंने खूब पढ़ाई की, नोट्स बनाए और अपना शत-प्रतिशत दिया. उन्होंने 2017 में अपने पहले ही प्रयास में यूपीएससी क्वालिफाई किया. अनुराग की रैंक 677 थी. अपनी रैंक से संतुष्ट न होकर उन्होंने फिर से तैयारी शुरू कर दी. अपने दूसरे प्रयास में उन्होंने 2018 की यूपीएससी सीएसई परीक्षा में ऑल इंडिया रैंक 48 वीं हासिल की.


ये स्टोरी आपने पढ़ी देश की सर्वश्रेष्ठ हिंदी वेबसाइट Zeenews.com/Hindi पर