Success Story: कहानी जुड़वा बहनों की जो पहले बनीं पोस्टर असिस्टेंट, फिर एक साथ क्लियर किया एग्जाम और बन गईं SDM
SDM Sisters Success Story: जब दोनों बहनों ने उत्तराखंड पीसीएस का एग्जाम दिया और जब रिजल्ट आया तो दोनों बहन लाइमलाइट में आ गई थीं. क्योंकि फीमेल कैटेगरी में मुक्ता मिश्रा टॉपर थीं और युक्ता की सेकेंड रैंक आई थी.
SDM Yukta and Mukta Success Story: सफलता सबको अच्छी लगती है अफसर बस बनना चाहते हैं लेकिन उससे पहले की मेहनत सही दिशा में हो तो यह मुमकिन हो पाता है. आज हम आपको एक ऐसी ही सक्सेस स्टोरी बता रहे हैं. यह कहानी जुड़वा बहनों की है जिन्होंने सरकारी नौकरी के लिए 2 बार एग्जाम दिए और दोनों ने एक साथ ही सरकारी नौकरी हासिल की. पहले तो दोनों बहनों ने पोस्ट ऑफिस में सरकारी नौकरी के लिए एग्जाम दिया तो दोनों पोस्टल असिस्टेंट बन गईं. उसके बाद उत्तराखंड पीसीएस का एग्जाम दिया और क्लियर करके दोनों बहन एक साथ SDM बन गईं.
SDM युक्ता मिश्रा और एसडीएम मुक्ता मिश्रा दोनों बहन हैं और नैनीताल की रहने वाली हैं. दोनों का जन्म चमोली में हुआ था. दोनों बहनों की पढ़ाई भी एकसाथ ही हुई है. सहारनपुर, बरेली और गोपेश्वर से अपनी पढ़ाई की है. दोनों बहन जब बरेली में अपनी ग्रेजुएशन की पढ़ाई पूरी कर रही थीं तब दोनों ने पोस्टल असिस्टेंट के लिए एग्जाम दिया था और उन्होंने क्लियर किया और पोस्टल असिस्टेंट बन गईं. दोनों ने ही अल्मोड़ा के पोस्ट ऑफिस में नौकरी करना शुरू कर दिया और वहीं एक कॉलेज में एडमिशन ले लिया और आगे की पढ़ाई करने लगीं.
जब दोनों बहनों ने उत्तराखंड पीसीएस का एग्जाम दिया और जब रिजल्ट आया तो दोनों बहन लाइमलाइट में आ गई थीं. क्योंकि फीमेल कैटेगरी में मुक्ता मिश्रा टॉपर थीं और युक्ता की सेकेंड रैंक आई थी. वहीं स्टेट लेवल पर मुक्ता की चौथी रैंक थी और युक्ता की सातवीं रैंक थी.
जब रुद्रप्रयाग में एसडीएम सदर के पद पर जब मुक्ता काम कर रही थीं तो उन्होंने फ्री में कोचिंग क्लास देना भी शुरू कर दिया था. साल 2018 में मुक्ता मिश्रा राजकीय इंटर कॉलेज रुद्रप्रयाग में सुबह 8 बजे से 10 बजे तक रोजाना युवाओं को कोचिंग क्लास देती थीं. फिलहाल की बात करें तो युक्ता मिश्र डोईवाला की एसडीएम (SDM) हैं और मुक्ता मिश्र कोटद्वार की एसडीएम हैं.
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