ARTO Shivam Yadav: समर्पण, त्याग और बेहतर गाइडेंस. अगर इन सबका अच्छा तालमेल बैठ जाए तो कम उम्र में भी बड़ी कामयाबी पाई जाती है. अगर सही समय और छोटी उम्र में ही कामयाबी मिल जाए, तो फिर अपने लक्ष्य को पाने की तरफ जोश दोगुना बढ़ता है. 


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ऐसी ही कुछ हुआ है आगरा के एत्मादपुर गांव के शिवम यादव के साथ में जिन्होंने महज छह महीने के अंदर ही एक के बाद एक तीन बड़ी परीक्षाएं पास करके अपनी योग्यता को साबित किया है. बेहतर रणनीति के साथ में पढ़ाई करते हुए शिवम यादव ने छह महीने के अंदर ही सबसे पहले हाईकोर्ट की तरफ से आई समीक्षा अधिकारी की परीक्षा पास की. इसके बाद उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के पीसीएस 2019 के आए रिजल्ट में नायाब तहसीलदार का पद हासिल किया. इसके बाद अब पीसीएस 2020 के आए रिजल्ट में एआरटीओ का पद शिवम यादव ने हासिल किया. 


शिवम का सपना देश की सबसे बड़ी परीक्षा यूपीएससी को पास करके आईएएस बनने का है. UPSC 2020 का शिवम ने मेंस दिया है, लेकिन उनका इंटरव्यू के लिए सेलेक्शन नहीं हुआ. उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के आए रिजल्ट में महज 24 साल की उम्र में ही शिवम यादव ने एआरटीओ का पद हासिल किया है. शिवम को इसमें चौथी रैंक मिली थी. शिवम यादव को कम उम्र में एक के बाद एक कामयाबी बेहतर रणनीति का ही नतीजा रहा है.


गांव से शुरुआती पढ़ाई के बाद उन्होंने आगरा के सेंट एण्डूज पब्लिक स्कूल से 10वीं और 12वीं की पढ़ाई की. इसके बाद ग्रेजुएशन की पढ़ाई उन्होंने आगरा के ही सी एस मेमोरियल डिग्री कॉलेज से की. ग्रेजुएशन करने के ही दौरान सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी शुरू दी. परिवार में बेहतर माहौल मिलने की वजह से उन्होंने घर से ही तैयारी जारी रखी और साल 2020-21 में उन्होंने एक के बाद एक करके परीक्षाएं पास कीं. शिवम अपने पिता के सपनों को पूरा करने में जुटे हुए हैं, उनका टारगेट आईएएस बनना है. शिवम के पापा ने बचपन में ही बोल दिया था कि एक दिन वह आईएएस बनेगा.


शिवम अपनी तैयारी के बारे में बताया कि वर्तमान में इंटरनेट पर ही इतना कटेंट भरा हुआ है, अगर कोचिंग न भी की जाए तो सफलता हासिल की जाती है. कोचिंग आपको मार्गदर्शन दे सकती है, लेकिन आपका चयन नहीं करा सकती है. अब ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर एक से बढ़कर एक कटेंट उपलब्ध है. इंटरनेट के जरिए अब पढ़ाई बहुत आसान हो गई है. मेरी तैयारी में इंटरनेट एक बहुत बड़ा माध्यम रहा है. वर्तमान समय की अगर बात की जाए तो फिर आज के समय में बिना इंटरनेट के तैयारी करना बहुत ही मुश्किल है. उन्होंने बताया कि अब हर किसी को अपनी तैयारी का हिस्सा ऑनलाइन माध्यम बना लेना चाहिए. इंटरनेट के जरिए लेख और संपादकीय बेहतर तरीके से पढ़ने को मिल जाते है.


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