Caliphate Web Series: विवादास्पद हो चुकी द केरल स्टोरी के बहाने बहुत सारी बातें हो रही हैं. हालांकि इसका पूरा फायदा फिल्म को मिल रहा है, जो कम बजट में बनने के बावजूद बॉक्स ऑफिस पर शानदार प्रदर्शन कर रही है. लेकिन इसी बीच द केरल स्टोरी की चर्चाओं के बीच नेटफ्लिक्स इंडिया पर मौजूद स्वीडन की एक वेब सीरीज सुर्खियां बटोर रही है. स्वीडिश सीरीज इंडिया में ट्रेंड हो रही है. इसका नाम है, खलीफा. असल में इस सीरीज का केंद्रीय मुद्दा भी द केरल स्टोरी की तरह है. यह सीरीज नेटफ्लिक्स पर मूल स्वीडिश भाषा के साथ अंग्रेजी में डब है. अंग्रेजी में इसके सबटाइटल्स भी मौजूद हैं.


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ब्रेनवॉश और आईएसआईएस
2020 में स्वीडन में रिलीज हुई इस सीरीज में इस्लामी कट्टरपंथियों और आतंकवाद के जटिल मुद्दे को खूबसूरती से उकेरा गया था. रिलीज के समय इसे काफी सराहा गया था. खलीफा ऐसी महिलाओं की कहानी बताती है, जिनका ब्रेनवॉश किया गया और फिर आईएसआईएस द्वारा सीरिया में उन्हें अपने संगठन में शामिल किया गया था. लेकिन फिर इन्हीं में से एक महिला, सुले का मोहभंग हो जाता है और वह स्वीडन में एक पत्रकार से संपर्क करती है, जो पूरे मामले की जांच शुरू करता है. यह पत्रकार की जांच-पड़ताल करते हुए एक स्वीडिश सुरक्षा एजेंट के संपर्क में आता है. यह एजेंट भी इस मामले की जाँच कर रहा है. तब वे दोनों मिलकर स्वीडन पर एक आतंकवादी हमले को रोकने की कोशिश करने के लिए मिलकर काम करते हैं.


कनेक्शन दोनों कहानियों का
वास्तव में द केरल स्टोरी भी कमोबेश केरल की ऐसी ही तीन लड़कियों की कहानी कहती है, कहती है जिन्हें आईएसआईएस से जुड़े कट्टर इस्लामी संगठन के लोग ब्रेनवॉश करते हैं. उन्हें इस्लाम में धर्मांतरण कराते हैं. फिर इन तीनों लड़कियों के साथ क्या-क्या जुल्म-ज्यादती होती है, वह फिल्म में दिखाया गया है. अब सोशल मीडिया में तमाम लोग खलीफा और द केरल स्टोरी के कंटेंट को जोड़ कर देख रहे हैं. कई लोगों का यह भी कहना है कि हो सकता है कि भारत में तीन साल पुरानी इस वेब सीरीज का भी विरोध शुरू हो जाए. ऐसे में इस पर बैन लगने या नेटफ्लिक्स द्वारा विरोध की वजह से हटाने से पहले लोगों को यह सीरीज देख लेनी चाहिए.