नई दिल्ली: जिन दवाओं का इस्तेमाल नशेड़ी करते हैं, उसकी बड़ी खेप दिल्ली पुलिस क्राइम ब्रांच (Crime Branch) ने शुक्रवार को एक झुग्गी से बरामद की. इनमें 10 लाख 46 हजार गोलियां-कैप्सूल और 19,569 कफ सीरप की बोतलें हैं. अवैध रूप से स्टॉक की गई इन दवाइयों की लागत करीब 1 करोड़ 80 लाख रुपये है. नारकोटिक्स सेल ने गोदाम की रखवाली करने वाले शख्स को गिरफ्तार कर लिया है. जिसकी शिनाख्त दिल्ली में कीर्ति नगर के कमला नेहरू कैंप में रहने वाले 29 साल के श्रवण कुमार के तौर पर हुई है. अब क्राइम ब्रांच इस रैकेट के सरगना की तलाश में जुट गई है.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

राकेश पावेरिया डीसीपी क्राइम डिपार्टमेंट के मुताबिक, कीर्ति नगर में भारी तादाद में नशे में इस्तेमाल होने वाली दवाइयों का अवैध स्टॉक होने की खबर मिली थी. जिसके बाद नारकोटिक्स सेल की टीम ने कमला नेहरू कैंप की झुग्गी में छापा मारा. यहां से श्रवण को पकड़ा और फिर उसकी निशानदेही पर झुग्गी से 200 से ज्यादा दवाइयों के कार्टन बरामद किए गए.


ये भी पढ़ें- परिजनों ने कूलर चलाने के लिए हटाया वेंटिलेटर का प्लग, मरीज की मौत


उन्होंने आगे कहा कि आरोपी ने पूछताछ में बताया है कि वह एक साल पहले पवन अरोड़ा के संपर्क में आया था, जिसका ऑफिस डीएसआईडीसी कीर्ति नगर में है. पवन अरोड़ा दवाइयों को होलसेल में बेचने का कारोबार करता है. छह महीने पहले उसे 7500 रुपये में किराए पर झुग्गी दी थी और खुद केयर टेकर के तौर पर गोदाम की रखवाली करने लगा. हमारी टीम ने पवन को कॉल करके स्टॉक के दस्तावेज मंगवाए, जो नहीं आया. फिलहाल सभी दवाइयां सीज कर दी गईं हैं. दरअसल इन दवाइयों को बगैर परमिट के बेचना, इधर-उधर ले जाना और स्टॉक करना अपराध है. डॉक्टर की सलाह के बाद ही इसे कैमिस्ट से खरीदा जा सकता है.


ये वीडियो भी देखें-