Sukhdev Singh Gogamedi Latest News: श्री राजपूत करणी सेना के मुखिया सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या के पीछे वजह क्या थी.आखिर गोल्डी बरार लॉरेंस बिश्नोई गैंग गोगामेड़ी से किस बात पर नाराज था. क्या गोगामेड़ी अपनी मौत की खुद वजह बन गए या इस वारदात को बदले और द्वेष में अंजाम दिया गया. वैसे तो इस मामले में सटीक जानकारी पुलिस और आम जनता को रोहित गोदारा की गिरफ्तारी से ही साफ हो सकेगी. लेकिन गोगामेड़ी का मारने वाले दोनों कथित हत्यारे रोहित राठौड़ और नितिम फौजी ने जो खुलासा किया है उससे पता चल रहा है कि इस वारदात को बदला, पैसा और द्वेष की वजह से अंजाम दिया गया. 


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पुलिस के कब्जे में दो शूटर
पांच दिसंबर को जयपुर में गोगामेड़ी की हत्या हुई थी. उस हत्याकांड को रोहित गोदारा के दो शूटरों रोहित राठौड़ और नितिन फौजी ने नवीन शेखावत नाम के शख्स को सीढ़ी बनाकर अंजाम दिया. बता दें कि नवीन शेखावत को भी इन कथित हत्यारों ने मार डाला था. पुलिस की पूछताछ में जो जानकारी मिली है उसके मुताबिल लॉरेंस गैंग, गोगामेड़ी से दो वजहों से नाराज था. नाराजगी की पहली वजह यह थी कि 2107 में आनंदपाल की हत्या के बाद जो विरोध प्रदर्शन हो रहे थे उसे गोगामेड़ी ने बीच में ही क्यों छोड़ दिया. दूसरी वजह यह कि गोगामेड़ी, आनंदपाल के नाम पर बहुत बड़ी रकम इकट्ठा कर चुके थे. इससे पहले यह जानकारी सामने आई कि गोगामेड़ी की हत्या में जात एक बड़ी वजह थी, हालांकि जांचकर्ता अब इस तरह की थ्योरी को खारिज कर रहे हैं.


रोहित गोदारा ने वीरेंद्र चरन को दी जिम्मेदारी
पुलिस के मुताबिक नवंबर के आखिरी हफ्ते में ही लॉरेंस बिश्नोई गैंग ने गोगामेड़ी की कत्ल की साजिश रच चुका था. गोगमेड़ी हत्याकांड के सूत्रधार रोहित गोदारा किसी भी कीमत चुनाव के बाद अंजाम देने की फिराक में था. रोहित गोदारा जो इस समय विदेश में है उसने गोल्डी बरार और लॉरेंस बिश्नोई ने हरी झंडी मिलने के बाद भगोड़ा घोषित वीरेंद्र चरन से संपर्क साधा. चरन को जब जिम्मेदारी मिली तो वो इस काम के लिए वो बेहतर शूटर्स की तलाश में जुट गया. उसकी तलाश रोहित राठौड़ और नितिन फौजी पर जाकर टिकी. रोहित राठौड़ वो अपराधी था जो उसके साथ रेप के एक मामले में अजमेर जेल में कभी बंद रहा था.


कौन है रोहित राठौड़

रोहित राठौड़ जयपुर के जेएनयू में एलएलबी थर्ड ईयर का स्टूडेंट रहा है. 2017 में उसके खिलाफ जयपुर में पॉस्को और रेप केस में मुकदमा दर्ज किया गया था. करीब 2 महीने पहले यानी अक्टूबर के आसपास वीरेंद्र चरन ने रोहित से संपर्क साधा और सिग्नल ऐप पर प्रोफाइल बनाने के लिए कहा. पुलिस से पूछताछ में राठोड़ ने बताया कि चरन इस बात से वाकिफ था कि उसकी गोगामेड़ी से खटपट थी. इन सबके बीच दूसरे शूटर नितिन फौजी के बारे में भी जानना जरूरी है.


नितिन फौजी का क्राइम कनेक्शन

नितिन फौजी भी रोहित राठौड़ की तरह वीरेंद्र चरन के साथ अपहरण के एक मामले में महेंद्रगढ़ की जेल में बंद था. बता दें कि नितिन फौजी ने 2019 में सेना का हिस्सा बना था और उसकी पोस्टिंग अलवर में थी. 9 नवंबर को महेंद्रगढ़ में शादी के दौरान हत्या की कोशिश में वो शामिल था. 9 नवंबर की जिस घटना में उसका नाम आया वो उस समय छुट्टी पर था.


इस तरह गोगामेड़ी बने थे निशाना

स्पेशल कमिश्नर क्राइम रविंद्र यादव के मुताबिक गोगामेड़ी की हत्या से एक हफ्ते पहले वीरेंद्र चरन ने रोहित राठौड़ और नितिन फौजी को जानकारी दी थी. राठौड़ और नितिन फौजी से कहा गया कि दोनों जयपुर में इकट्ठा हों. कुरियर के जरिए दोनों को हथियार उपलब्ध कराने के साथ सिग्नल ऐप पर जानकारी दी गई. बिश्वोई-बरार गैंग से कमांड मिलने के बाद दोनों जयपुर पहुंचे और नवीन शेखावत से मुलाकात की. इन तीनों को पचास-पचास हजार रुपए मिले. पुलिस का कहना है कि कथित हत्यारों से पूछताछ में जो जानकारी मिली है कि उसके मुताबिक नवीन शेखावत का इस्तेमाल सिर्फ गोगामेड़ी तक पहुंचने के लिए किया. शेखावत को मर्डर के बारे में पहले से जानकारी नहीं थी. शेखावत को यह बताया गया था कि वो गोगामेड़ी से कंप्रोमाइज के सिलसिले में मिलना चाहते हैं. हालांकि शूटर्स के इस दावे पर अभी पुख्ता तौर पर कुछ नहीं कहा जा सकता.


गोगामेड़ी हत्याकांड में रोहित राठौड़ और नितिन फौजी ने नवीन शेखावत को भी मार डाला था. नवीन शेखावत के मारे जाने पर रोहित गोदारा का कहना है कि वो उसे मारना नहीं चाहते थे. वो गलती से मारा गया. वहीं पुलिस का कहना है कि रोहित गोदार की गिरफ्तारी की कोशिश की जा रही है. उसकी गिरफ्तारी के बाद इस केस पर अब भी जो कुछ रहस्य के बादल छाए हुए हैं, साफ हो जाएंगे.