Arabian Sea: भारत के बाद पाकिस्तान ने भी अरब सागर में उतारे जंगी जहाज, यमन के हूती को लेकर क्यों देनी पड़ी सफाई?
Pakistan Navy Warships: अरब सागर में युद्धपोत तैनात करने के फैसले को लेकर पाकिस्तानी नौसेना को सफाई देनी पड़ रही है. तैनाती को लेकर उसने कहा कि यह अंतरराष्ट्रीय जलक्षेत्र में अपनी समुद्री सुरक्षा बनाए रखने के लिए है. यमन के हुती विद्रोहियों के खिलाफ किसी खास देश की मदद करने से पाकिस्तान ने इनकार किया है.
Arabian Sea Security Concerns: दुनिया भर के सबसे अहम कारोबारी समुद्री रास्ते में एक लाल सागर में कई देशों के जहाजों पर हूती आतंकियों के हमले से कई देश चिंतित हैं. इजरायल- हमास युद्ध के बाद यमन के बड़े हिस्से पर कब्जा करने वाले हूती हमलावरों ने कई व्यापारी जहाज को निशाना बनाया है. एक ऑयल टैंकर पर तैनात भारतीय क्रू मेंबर्स पर हमले के बाद भारतीय नौसेना ने अरब सागर में जंगी जहाजों की तैनाती बढ़ाई थी. अब पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान ने भी अरब सागर में अपने युद्धपोतों को तैनात किया है. हालांकि, पाकिस्तानी नौसेना को इसके बाद दुनिया भर में सफाई देनी पड़ रही है.
हूती हमलावरों को लेकर पाकिस्तानी नौसेना के प्रवक्ता ने दी सफाई
पाकिस्तानी नौसेना ने कहा है कि अरब सागर में युद्धपोत तैनात करने का पाकिस्तान का फैसला अंतरराष्ट्रीय जलक्षेत्र में अपनी समुद्री सुरक्षा बनाए रखने के लिए है. पाकिस्तानी नौसेना के प्रवक्ता ने स्पष्ट किया कि यमन के हूती हमलावरों के खिलाफ किसी खास देश की मदद करने के लिए यह कदम नहीं उठाया गया है. आइए, जानते हैं कि पाकिस्तानी नौसेना को अरब सागर में नए कदम को लेकर दुनिया के सामने क्यों सफाई देनी पड़ रही है?
अदन की खाड़ी और अरब सागर में वाणिज्यिक जहाजों पर हूती का हमला
इससे पहले यमन के हूती हमलावरों ने "गाजा में फलस्तीनियों के साथ एकजुटता दिखाते हुए" अदन की खाड़ी और अरब सागर में वाणिज्यिक जहाजों के अपहरण और अगवा करने की कोशिशों की जिम्मेदारी ली है. इसको लेकर दुनिया के कई देशों ने रास्ते बदल लिए. वहीं, अमेरिका ने 20 से ज्यादा देशों की नौसेना के साथ मिलकर साझा अभियान शुरू किया है. इनकी जवाबी कार्रवाई में कई बार हूती हमलावरों को पीछे हटना पड़ा है. कई बार हूती हमलावरों के निशाने चूके हैं. हूती हमलावरों के मददगार भी आलोचना के केंद्र में आ गए हैं.
युद्ध में फंसे गाजा के पीड़ित फिलिस्तीनियों का समर्थन करता है पाकिस्तान
पाकिस्तानी नौसेना ने इसीलिए अरब सागर में जंगी जहाजों की तैनाती पर सफाई दी है. प्रवक्ता ने कहा कि पाकिस्तानी नौसेना का रुख भी पाकिस्तान सरकार जैसा ही है. वह युद्ध ग्रस्त गाजा में पीड़ित फिलिस्तीनियों का समर्थन करती है. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के व्यापार मार्गों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अरब सागर में उनके जहाज लगातार गश्त कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान और अंतरराष्ट्रीय व्यापारिक जहाजों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए वाणिज्यिक मार्गों की निरंतर हवाई निगरानी भी की जा रही है.
अरब सागर में भारतीय नौसेना ने व्यापारिक जहाज से 21 क्रू मेंबर्स को बचाया
इससे पहले अपहरण से जुड़े संकट की सूचना मिलने के बाद अरब सागर में भारतीय नौसेना ने एक व्यापारिक जहाज से चालक दल के 21 सदस्यों को बचाया था. इसके बाद पाकिस्तानी नौसेना ने बीते रविवार को अरब सागर में अपने जंगी जहाजों को तैनात करने का फैसला किया. यह कदम यमन के हूती हमलावरों द्वारा किए गए ड्रोन और मिसाइल हमलों के चलते कई जहाजों के लाल सागर से वापस जाने और दूसरे रास्ते अपनाए जाने के बाद आया है.
लाल सागर में हूती हमलावरों की शैतानियों से ईरान सरकार ने किया किनारा
ईरान समर्थित हूती हमलावरों द्वारा लाल सागर में अंतरराष्ट्रीय जहाजों पर निशाना बनाया जाना वैश्विक अर्थव्यवस्था के लिए प्रतिकूल हो सकता है. हालांकि, ईरान का कहना है कि उसके सहयोगी तेहरान के आदेश पर नहीं, बल्कि अपने हिसाब से काम करते हैं. 17 अक्तूबर के बाद लाल सागर और आसपास हूती की तरफ से कमर्शियल जहाज पर हमले की करीब 20 घटना सामने आ चुकी है. दिसंबर में एक ही दिन में अमेरिका, नार्वे और भारत के झंडे लगे तीन कारोबारी जहाजों पर हूती का हमला हुआ था.
वैश्विक अर्थव्यवस्था और कई देशों के बीच संपर्क के लिए अहम है अरब सागर
हिंद महासागर का उत्तर पश्चिमी इलाका यानी पश्चिम में अरब प्रायद्वीप और पूरब में भारतीय उप महाद्वीप के बीच अरब सागर स्थित है. अरब सागर दुनिया के बड़े समुद्री कारोबारी मार्ग लाल सागर को ओमान की खाड़ी से जोड़ता है. अरब सागर की सीमा यमन,ओमान, पाकिस्तान, ईरान, भारत और मालदीव को छूती है. यह एक ऐसा समुद्री क्षेत्र है जो कई अहम शिपिंग लेन और बंदरगाहों को आपस में जोड़ता है. इसलिए अंतरराष्ट्रीय व्यापार के लिए अरब सागर भी एक अहम रास्ता बन जाता है.
भारत की क्षेत्रीय सुरक्षा और स्थिरता के लिए अहम समुद्री इलाका है अरब सागर
प्राकृतिक संसाधनों से भरपूर अफ्रीका और मध्यपूर्व के देशों से लेकर एशियाई देशों के श्रम बाजारों और मैन्युफैक्चरिंग इंडस्ट्री के लिए अरब सागर में स्थिरता बेहद जरूरी है. इसलिए वैश्विक अर्थव्यवस्था में इसकी बड़ी भूमिका है. अरब सागर तेल और प्राकृतिक गैस का भी बड़ा भंडार है. इस क्षेत्र में ऊर्जा के कई और अहम संसाधन भी हैं. अरब सागर में ईरान, भारत और अमेरिका के नौसैनिक ऑपरेशन चलते हैं और यहां उनके कई नौसैनिक अड्डे भी हैं. इसलिए क्षेत्रीय सुरक्षा और स्थिरता के लिए अरब सागर भारत के लिए अहम समुद्री इलाका है.
समुद्र में फैली इजरायल- हमास जंग की आंच, लाल सागर में हूती का ज्यादा हमला
मध्य पूर्व में इजरायल और हमास में जारी जंग के बीच ईरान समर्थक यमन के हूती ने हमास के खुले समर्थन का एलान किया है. समुद्र में हूती आतंकी इजरायल जा रहे हैं या इजरायल से किसी भी तरह का रिश्ता रखने वाले देशों के कमर्शियल जहाजों को लगातार निशाना बना रहे हैं. इस तरह दुनिया के कई देशों के लिए समुद्र अब एक नया वॉर जोन बन गया है. यमन के ज्यादातर हिस्से पर कब्जा रखने वाले ईरान समर्थित हूती आतंकी लाल सागर के दक्षिणी छोर पर बाब अल-मंदेब जलडमरूमध्य से गुजरने वाले जहाजों को खास तौर पर निशाना बना रहे हैं. हूती जहाजों को तोड़ा यानी सीधे हमले किए, कुछ जहाजों पर ड्रोन से हमले किए और कई जहाजों में लूटपाट को अंजाम दिया है.