Delhi Pollution: दिवाली पर लोगों ने जमकर फोड़े पटाखे, जहरीली हुई दिल्ली-एनसीआर की हवा; हालात बिगड़ने के आसार
Pollution in Delhi-NCR: दिल्ली-नोएडा में दिवाली की रात हवा की गुणवत्ता बेहद खराब श्रेणी में दर्ज की गई. दिल्ली में AQI 323 और नोएडा में 342 रहा. दिल्ली के कुछ इलाकों में यह 400 को पार कर गया.
Delhi Air Quality After Diwali: दिवाली के मौके पर दिल्ली-एनसीआर में लोगों ने जमकर पटाखे फोड़े, जिसके बाद प्रदूषण बहुत ज्यादा बढ़ गया है. प्रदूषण के कारण दिल्ली की हवा पहले ही दूषित थी. दिवाली पर शाम के समय से प्रदूषण का स्तर बढ़ना शुरू हो गया था.
यही हाल नोएडा और गुरुग्राम का भी रहा. लोगों ने रोक के बावजूद जमकर पटाखे जलाए. बढ़ते प्रदूषण की वजह से दिल्ली-एनसीआर में अगले कुछ दिनों तक धुंध की चादर देखने को मिल सकती है. ये आशंका पहले ही जताई गई थी कि राजधानी की हवा में सांस लेना दुश्वार हो सकता है.
दिल्ली-नोएडा में दिवाली की रात हवा की गुणवत्ता बेहद खराब श्रेणी में दर्ज की गई. दिल्ली में AQI 323 और नोएडा में 342 रहा. दिल्ली के कुछ इलाकों में यह 400 को पार कर गया. पराली जलाने की बढ़ती घटनाओं और वायु प्रदूषण बढ़ाने में मददगार अनुकूल मौसमी दशाओं के कारण हवा और खराब हो गई. गुरुग्राम में सुबह 5 बजे एक्यूआई 245 दर्ज किया गया.
वायु गुणवत्ता प्रणाली और मौसम पूर्वानुमान एवं अनुसंधान (सफर) ने पहले पूर्वानुमान जताया था कि अगर पिछले बरस की तरह ही इस बार भी पटाखे फोड़े जाते हैं, तो दिवाली की रात को हवा की गुणवत्ता गंभीर स्तर व एक और दिन रेड जोन में रह सकती है. जीरो से 50 के बीच के एक्यूआई को अच्छा, 51 से 100 को संतोषजनक, 101 से 200 को मीडियम, 200 से 300 के बीच को खराब, 301 से 400 को बहुत खराब और 401 से 500 को गंभीर माना जाता है.
लोगों ने जमकर जलाए पटाखे
पटाखे चलाने से रोकने के लिए नियम बनाए जाने के बावजूद शाम होते ही दिल्ली के विभिन्न इलाकों में लोगों ने आतिशबाज़ी शुरू कर दी. कई लोगों ने पटाखों के धुएं के कारण आंखों में जलन होने की शिकायत की. दक्षिण दिल्ली के ईस्ट ऑफ कैलाश, नेहरू, प्लेस, मूलचंद समेत अन्य इलाकों में शाम से ही पटाखों की आवाज़ सुनी गई. बुराड़ी में रहने वाले एक शख्स ने कहा, ''वे शिक्षित लोग हैं फिर भी ऐसा कर रहे हैं. बच्चे इससे क्या सीखेंगे."
पूर्वी और उत्तर पूर्वी दिल्ली के लक्ष्मी नगर, मयूर विहार, शाहदरा, यमुना विहार समेत कई इलाकों में यही स्थिति रही. कुछ निवासियों ने कहा कि इस बार पटाखों की आवाज़ पिछले साल से कम थी, लेकिन रात नौ बजे के बाद पटाखों की आवाज बढ़ गई.
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