Special Train for tiger cubs: मध्य प्रदेश का सीहोर (Sehore) जिला बीते कुछ दिनों से बाघों को लेकर लगातार सुर्खियों में है. दो दिन पहले सीहोर जिले के बुदनी में ट्रेन की चपेट में आने से एक बाघ की मौत हो गई थी, जबकि उसके साथ एक-एक साल के दो शावक घायल हो गए थे. खबर मिलते ही मौके पर पहुंचा वन विभाग का अमला घायल शावकों का इलाज शुरु करता कि वैसे ही बाघिन आकर दहाड़ने लगी. बाघिन की दहाड़ सुनकर मौके से वन विभाग के कर्मचारी अपनी-अपनी जान बचाकर भागे. इसके बाद जैसे ही मौका मिला तो पोस्टमार्टम के बाद मृत बाघ का अंतिम संस्कार कराया गया.


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स्पेशल ट्रेन का इंतजाम


इसके बाद घायल शावकों के इलाज की चिंता सभी को सता रही थी. अचानक उनके इलाज के लिए बुधनी के समीप मिडघाट सेक्शन से घायल शावकों (tiger cubs) को लाने के लिए स्पेशल ट्रेन बुलाने का फैसला हुआ. भोपाल से एक ही डिब्बे वाली विशेष AC ट्रेन की व्यवस्था की गई थी. एक अधिकारी ने बताया कि यहां से करीब 70 किलोमीटर दूर मिडघाट में 14-15 जुलाई की दरम्यानी रात में एक ट्रेन की चपेट में आने से बाघ के तीन शावक घायल हो गये थे जिन्हें ले जाने के लिए पश्चिम मध्य रेलवे ने यह विशेष ट्रेन चलायी.


सीएम के निर्देश पर सकारात्मक पहल


मुख्यमंत्री मोहन यादव (Mohan Yadav) के निर्देश पर यह ट्रेन भेजी गयी. अधिकारी ने बताया कि नौ महीने के एक घायल शावक ने दम तोड़ दिया जबकि दो अन्य रेल लाइन के समीप एक नाले में फंसे थे. सोमवार को इन शावकों को ले जाने की कोशिश की गयी थी लेकिन तब तक उनकी मां आ गयी थी और उसने किसी को उनके पास जाने नहीं दिया. मंगलवार सुबह यह अभियान बहाल हुआ और दो मादा शावकों को सफलतापूर्वक बचा लिया गया.


(इनपुट: न्यूज़ एजेंसी पीटीआई भाषा)