भागलपुरः बाढ़ और कटाव का भागलपुर से गहरा नाता रहा है. गंगा किनारे बसे भागलपुर के कई गांव के दर्जनों घर इन नदियों में समा जाते हैं और इस वर्ष भी समय से पूर्व कोसी नदी ने विकराल रूप धारण कर लिया है. जिले के नवगछिया अनुमंडल क्षेत्र के बिहपुर के कहारपुर में इस वर्ष भी कोसी कहर बनकर टूट रही है. 


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धीरे-धीरे बढ़ने लगी कोसी की धारा 
आलम यह है कि दर्जनों घर, स्वास्थ्य केंद्र , नल जल योजना की टंकी कोसी में समा चुकी है. अब विषहरी मंदिर के समीप धीरे-धीरे कोसी की धारा बढ़ रही है. जिसके बाद मंदिर के अस्तित्व पर खतरा मंडराने लगा है. वहीं गांव के लोग अब खुद से अपना घर तोड़कर एक-एक ईंट बचाने की जद्दोजहद कर रहे हैं. क्योंकि सरकार के उदासीन रवैये से इनसे इनका आशियाना छिनता जा रहा है. सोचिये एक गरीब परिवार को घर बनाने के लिए कितनी मेहनत करनी होती है, लेकिन एक झटके में इनका सब कुछ समाप्त हो जाता है. लोग डर के साये में एक एक रात गुजारने को मजबूर है. 


कोसी में समा रहे जमीन और घर का हिस्सा 
बीते दिनों हमने जिला प्रशासन को इस गांव की स्थिति से अवगत कराया था. लेकिन समय रहते कटाव निरोधी कार्य शुरू नहीं होने से अब खतरा और बढ़ गया है. हर घंटे जमीन और घर का हिस्सा कटकर कोसी में समाता जा रहा है. लोगों के चेहरे पर सिकन के साथ-साथ सरकार और जनप्रतिनिधियों के प्रति गुस्सा भी नजर आ रहा है. लोगों की माने तो लगातार कटाव हो रहा है. जमीन और घर का हिस्सा कोसी में समा रहे हैं और जो बचे हैं उसे तोड़ कर कम से कम ईंट को बचाने की कोशिश कर रहे हैं. बाढ़ कटाव के बाद यह सभी पटरी के किनारे शरण लेते हैं. लेकिन वहां से भी उन्हें हटा दिया जाता है.


जिलाधिकारी सुब्रत सेन की माने तो वह गांव नदी के किनारे है, अभियंता उसको देख रहे हैं. कटाव निरोधी कार्य वहां कराए जाएंगे. वहां की भौगोलिक परिस्थिति थोड़ी सी कठिन है. इस कारण परेशानी होती है. इस बार भी वहां कटाव हो रहा है. अब सवाल ये है कि यहां कब कटाव निरोधी कार्य शुरू किए जाएंगे. तब जब सारे घर कोसी की धारा में विलीन हो जाएंगे. प्रशासन पिछले वर्ष की हालत से अवगत थी तो इस वर्ष समय पूर्व यहां कटाव निरोधी कार्य शुरू नहीं कराया गया.


(रिपोर्ट-अश्वनी)


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