Gopalganj News: संदिग्ध रेडियोएक्टिव पदार्थ  कैलिफोर्नियम की बरामदी मामले में कई सवालों के जवाब अब तक पुलिस को नहीं मिले हैं. पकड़े गए तस्करों को यह पदार्थ कहां से मिला था? इस पदार्थ का वे क्या करने वाले थे? स्वतंत्रता दिवस से ठीक पहले ही ये पदार्थ बिहार क्यों लाया गया? बिहार पुलिस इन सवालों के जवाब खोजने में लगी है. इसके अलावा चौथे तस्कर की तलाश भी जारी है. अभी तक वह भी पुलिस की पकड़ से बाहर है. वहीं इस बीच इस रेडियो एक्टिव पदार्थ की जांच के लिए मुंबई के भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र की टीम शुक्रवार (10 अगस्त) को गोपालगंज पहुंची. यह टीम जब्त पदार्थ की जांच करके यह पता लगाएगी कि यह वास्तव में कैलिफोर्नियम है या नहीं. 


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बता दें कि गोपालगंज पुलिस ने हाल ही में तीन लोगों को पकड़ा था, जिनके पास से 50 ग्राम बहुमूल्य रेडियो एक्टिव पदार्थ कैलिफोर्नियम मिला था. इस सामान की कीमत अंतरराष्ट्रीय बाजार में करीब ₹850 करोड़ आंकी गई है. पकड़े गए तीनों आरोपियों की पहचान यूपी के कुशीनगर जिला के तमकुही राज थाना क्षेत्र के परसौनी बुजुर्ग निवासी चंद्रदेव प्रसाद के पुत्र छोटेलाल प्रसाद, गोपालगंज के नगर थाना क्षेत्र के कौशल्या चौक निवासी योगेंद्र साह के पुत्र चंदन गुप्ता और महम्मदपुर थाना क्षेत्र के कुशहर मठिया निवासी हरेंद्र राम के पुत्र चंदन राम के रूप में हुई है. 


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एसपी ने बताया था कि कैलिफोर्नियम एक बहुमूल्य रेडियोएक्टिव पदार्थ है. जिसका प्रयोग न्यूक्लियर रिएक्टर से न्यूक्लियर पावर के उत्पादन में होता है. वहीं बिहार पुलिस की एसआईटी टीम भी इसकी जांच कर रही है. आरोपियों से मिले इनपुट के आधार पर यूपी के कुशीनगर और गुजरात में भी इस मामले की जांच की जा रही है. इस रेडियो एक्टिव पदार्थ का स्त्रोत पता करने के लिए यूपी पुलिस और गुजरात पुलिस से भी संपर्क किया गया है.