प्रधानमंत्री ने कहा, 'यह मधुबनी मास्क एक तरह से अपनी परंपरा का प्रचार तो करता ही है और लोगों को स्वास्थ्य के साथ रोजगार भी दे रहा है.'
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पटना: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने रविवार को 'मन की बात' (Mann Ki Baat) रेडियो कार्यक्रम के दौरान, मधुबनी पेंटिंग युक्त मास्क की लोकप्रियता का जिक्र करते हुए, कोरोना (Corona) काल में बिहार के महिला स्वयंसहायता समूहों के नए प्रयोग की सराहना की.
पीएम मोदी ने कहा कि, बिहार में कई महिला स्वयंसहायता समूहों ने मधुबनी पेंटिंग वाले मास्क बनाना शुरू किया और देखते ही देखते यह खूब लोकप्रिय हो गए हैं. प्रधानमंत्री ने कहा, 'यह मधुबनी मास्क एक तरह से अपनी परंपरा का प्रचार तो करता ही है और लोगों को स्वास्थ्य के साथ रोजगार भी दे रहा है.'
उन्होंने पूर्वोत्तर के बांस उद्योग के अभिनव प्रयोग का भी जिक्र किया. मोदी ने कहा कि मणिपुर, त्रिपुरा और असम के कारीगरों ने बांस से उच्च गुणवत्ता युक्त पानी की बोतलें और टिफिन बॉक्स बनाना शुरू किया है.
बांस से बने बने इन सामान की गुणवत्ता की सराहना करते हुए उन्होंने कहा, 'आप अगर इनकी क्वालिटी देखेंगे तो, भरोसा नहीं होगा कि, बांस की बोतलें भी इतनी शानदार हो सकती हैं. ये बोतलें इको-फ्रेंडली भी हैं. इन्हें जब बनाते हैं तो बांस को नीम या दूसरे औषधीय पौधों के साथ उबाला जाता है, जिससे इनमें औषधीय गुण भी आते हैं.'
प्रधानमंत्री ने झारखंड में समूह में हो रही लेमन ग्रास की खेती का भी जिक्र किया. उन्होंने कहा, 'झारखंड के बिशुनपुर में इन दिनों 30 से ज्यादा समूह मिलकर लेमन ग्रास की खेती करते हैं. लेमन ग्रास चार महीने में तैयार हो जाती है और उसका तेल बाजार में अच्छे दामों में बिकता है और इसकी अच्छी मांग भी है.'
पीएम मोदी ने कहा कि, सकारात्मक प्रयास से आपदा को अवसर में और विपत्ति को विकास में बदलने में बहुत मदद मिलती है.
(इनपुट-आईएएनएस)