पटनाः Electricity Bill in Bihar: बिहार वालों पर अप्रैल से बढ़े हुए बिजली बिल की बोझ पड़ सकता है.बिजली कंपनी ने घरेलू उपभोक्ताओं के बिजली दर में 2.56 रुपये से लेकर 3.40 रुपए तक प्रति यूनिट बढ़ोतरी किए जाने का प्रस्ताव दिया है. बिजली कंपनी के इस प्रस्ताव पर 20 जनवरी सुनवाई होगी और फिर मार्च तक आयोग इस पर अपना फैसला सुनाएगा. बिहार में बिजली के दाम बढ़ाने की बात ऊर्जा मंत्री बिजेंद्र प्रसाद यादव भी कर चुके हैं. उन्होंने नवंबर में कहा था कि बिहार में बिजली के दाम में 10 फीसदी तक बढोतरी हो सकती है. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

ये है एक्ट में प्रावधान
ऊर्जा मंत्री ने कहा था कि 'कानून में इलेक्ट्रिसिटी एक्ट में जो प्रावधान है उसके अनुसार होल्डिंग कंपनी ऑटोनोमस बॉडी है. ये अपना प्रस्ताव सरकार को देने के बजाय राज्य की रेगुलेटरी कमीशन को देती है. रेगुलेटरी कमीशन जनसुनवाई करता है. उसी के बाद वह रेट फाइनल करता है. यह दोनों स्वतंत्र बॉडी है जो समीक्षा करने के बाद बिजली की दरों पर अनुशंसा करते हैं. इसलिए रेट हर साल कुछ ना कुछ तो बढ़ाना ही होगा.'


इतनी होगी बढ़ोतरी
बिजली कंपनी ने  ग्रामीण क्षेत्रों के घरेलू उपभोक्ताओं के फिक्स चार्ज में दोगुना और शहरी घरेलू उपभोक्ताओं के फिक्स चार्ज में ढाई गुना बढ़ोतरी का प्रस्ताव दिया है. इन प्रस्तावों पर 20 को बाल्मिकीनगर, 24 को कैमूर, 27 को भागलपुर, 1 फरवरी को अरवल, 10 को पूर्णिया और 17 पटना में जनसुनवाई होगी. आयोग के अध्यक्ष और सदस्य उपभोक्ताओं के पक्ष के साथ साउथ बिहार और नॉर्थ बिहार पावर डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी के अधिकारियों का पक्ष सुनेंगे.सुनवाई के बाद फैसला 1 अप्रैल 2023 से 31 मार्च 2024 तक लागू होगा.


अभी ये देना होता है बिल
फिलवक्त बिहार में बिजली के रेट कई राज्यों से ज्यादा हैं.बिहार में अभी शहरी घरेलू उपभोक्ताओं को 100 यूनिट तक 6.10 रुपये प्रति यूनिट की दर से बिल देना होता है. बिहार सरकार 1.83 रुपये का अनुदान भी देती है. वहीं 101 से 200 यूनिट तक 6.95 रुपयेऔर 200 यूनिट से ऊपर 8.05 रुपये प्रति यूनिट का रेट तय है. 


यह भी पढ़िएः Amit Shah Comming Jharkhand: मिशन 2024 को धार देने झारखंड आ रहे हैं अमित शाह, आखिर क्या है भाजपा का झारखंड प्लान