Daily Panchang 27 September 2022: आज पंचांग में जानिए शुभ मुहूर्त, पूजा विधि और मंत्र
Panchang Today, Aaj Ka Panchang: आज शारदीय नवरात्रि का दूसरा दिन है. इस दिन मां दुर्गा के द्वितीय स्वरुप देवी ब्रह्मचारिणी का पूजन किया जाता है. ब्रह्मचारिणी का अर्थ होता है, तप का आचरण करने वाली. इनका का स्वरूप अत्यंत तेजमय और भव्य है. इनके वस्त्र श्वेत हैं.
पटना: Panchang Today, Aaj Ka Panchang: आज का पंचांग आपके लिये शुभ तिथि और मुहूर्त लेकर आया है. आज मंगलवार है, माता के साथ हनुमान जी की भी पूजा करें. जानिए पञ्चांग में क्या है खास, बता रहे हैं आचार्य विक्रमादित्य.
आज का पंचांग
अश्विन - शुक्ल पक्ष - द्वितीया - मंगलवार
नक्षत्र - चित्रा नक्षत्र
महत्वपूर्ण योग- ब्रहम योग
चन्द्रमा का कन्या के उपरांत तुला राशि पर संचरण -
आज का शुभ मुहूर्त - 11.54 बजे से 12.42 बजे तक
राहु काल- 03.16 बजे से 04.45 बजे तक
त्योहार - नवरात्रि का दूसरा दिन - मां ब्रह्मचारिणी की पूजा का दिन
आज शारदीय नवरात्रि का दूसरा दिन है. इस दिन मां दुर्गा के द्वितीय स्वरुप देवी ब्रह्मचारिणी का पूजन किया जाता है. ब्रह्मचारिणी का अर्थ होता है, तप का आचरण करने वाली. इनका का स्वरूप अत्यंत तेजमय और भव्य है. इनके वस्त्र श्वेत हैं. मां ब्रह्मचारिणी अपने दाहिने हाथ में जप की माला और बाएं हाथ में कमंडल धारण करती हैं. इनकी पूजा के दिन साधक का मन स्वाधिष्ठान चक्र में स्थित होता है. इनकी आराधना से तप, संयम, त्याग व सदाचार जैसे गुणों की प्राप्ति होती है. मां ब्रह्मचारिणी की कृपा से धैर्य प्राप्त होता है और मनुष्य कठिन से कठिन परिस्थितियों में भी अपने कर्त्तव्य से विचलित नहीं होता है, उसे विजय की प्राप्ति होती है.
ऐसा है मां ब्रह्मचारिणी का स्वरूप
मां ब्रह्मचारिणी को ब्राह्मी भी कहा जाता है. ब्रह्म का अर्थ है तपस्या और चारिणी मतलब आचरण करने वाली यानी कि तप का आचरण करने वाली शक्ति. देवी के दाएं हाथ में जप की माला और बाएं हाथ में कमंडल है. भगवान शंकर को पति के रूप में पाने के लिए देवी ने कठोर तप किया था जिससे ये मां ब्रह्मचारिणी कहलाईं.
देवी को लगाएं भोग
देवी ब्रह्मचारिणी की पूजा में लाल रंग बहुत शुभ माना गया है. देवी की पूजा लाल रंग के वस्त्र पहनकर करना उत्तम फलदायी होता है. पूजा में मां को लाल चुनरी, लाल फूल, कुमकुम, लाल चूड़ी अर्पित करें. नवरात्रि के दूसरे दिन देवी ब्रह्मचारिणी की पूजा में देवी को शक्कर और पंचामृत का भोग अति प्रिय है. देवी को इन दो चीजों का भोग लगाने से दीर्घायु मिलती है. साथ ही बुद्धि में वृद्धि होती है.
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