पटनाः Lord Vishnu Mantra:बृहस्पतिवार को विष्णु जी का विशेष वार माना जाता है. माना जाता है इस दिन श्री हरि विष्णु जी का व्रत व पूजन करने से जीवन धन-धान्य से भरपूर रहता है. विष्णु पूजा के अवसरों पर विष्णु मंत्र का जाप किया जाना अति शुभ फलदायी माना गया है. यहां प्रमुख विष्णु मंत्र और उनकी महिमा का वर्णन है


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1. विष्णु रूप पूजन मंत्र
शांता कारम भुजङ्ग शयनम पद्म नाभं सुरेशम. 
विश्वाधारं गगनसद्र्श्यं मेघवर्णम शुभांगम. 
लक्ष्मी कान्तं कमल नयनम योगिभिर्ध्यान नग्म्य्म.
वन्दे विष्णुम भवभयहरं सर्व लोकेकनाथम.


इसका अर्थ है, जिस हरि का रूप अति शांतिमय है, जो शेष नाग की शैय्या पर शयन करते हैं. जिनकी नाभि से कमल निकल रहा है, वे समस्त जगत के आधार हैं. जो गगन के समान हर जगह व्याप्त हैं. जो भय का नाश करने वाले हैं, जो धन की देवी लक्ष्मी जी के पति हैं, उन्हें प्रणाम करता हूं.


2. मूल मंत्र
ॐ नमोः नारायणाय. ॐ नमोः भगवते वासुदेवाय.


3. विष्णु गायत्री महामंत्र
ॐ नारायणाय विद्महे. वासुदेवाय धीमहि. तन्नो विष्णु प्रचोदयात्..


4. विष्णु कृष्ण अवतार मंत्र
श्रीकृष्ण गोविन्द हरे मुरारे. हे नाथ नारायण वासुदेवाय..


5. धन की कामना के लिए जपें ये मंत्र 
ॐ भूरिदा भूरि देहिनो, मा दभ्रं भूर्या भर. भूरि घेदिन्द्र दित्ससि,
ॐ भूरिदा त्यसि श्रुत: पुरूत्रा शूर वृत्रहन्. आ नो भजस्व राधसि.


भगवान विष्णु जी का यह मंत्र ऋग्वेद से लिया गया है. यदि किसी व्यक्ति जीवन में धन धान्य का अभाव हो तो वह विष्णु पूजा के दौरान इस मंत्र जाप कर सकता है.


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