GAYA News: गया में एक सरकारी स्कूल की बिल्डिंग 20 साल बाद भी बनकर तैयार नहीं हो सकी है जबकि 14 लाख रुपये खर्च किए जा चुके हैं. ग्रामीणों ने पूर्व प्रधानाध्यापिका को इसके लिए दोषी ठहराया है.
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GAYA:नौनिहालों का भविष्य संवारने के लिए जहां बिहार सरकार एक बढ़कर एक से बढ़कर एक योजनाएं ला रही है.वहीं, दूसरी तरफ गया के गुरारू प्रखंड के बरोरह पंचायत में एक गांव ऐसा है, जहां 20 साल बाद भी उत्क्रमित मध्य विद्यालय की बिल्डिंग तैयार नहीं हो सकी है.
इससे स्थानीय लोग काफी नाराज हैं. बताया जा रहा है कि महुआइन गांव में उत्क्रमित मध्य विद्यालय की जर्जर बिल्डिंग को देखते हुए सरकार ने नई बिल्डिंग बनाने की इजाजत दी. इसके लिए बकायादा 14 लाख रुपये भी दे दिए गए और प्रधानअध्यापिका को इसकी जिम्मेदारी भी दे दी गई लेकिन आज तक इस विद्यालय की इमारत का काम पूरा नहीं हो सका है. केवल इमारत खड़ी करके कमरा बना दिया गया है लेकिन न तो इसका प्लास्टर हुआ है और ना ही खिड़की दरवाजे लगाए गए हैं.
इमारत का रख-रखाव नहीं होने से नई ईमारत भी जर्जर होने लगी है, जिससे हादसे की भी आशंका बनी रहती है. ग्रामीणों का आरोप है कि प्रधानअध्यापिका ने काम को लेकर भारी लापरवाही बरती जिसके कारण विद्यालय का भवन पूरी तरह नहीं बन सका. लिहाजा बचा हुआ काम भगवान पूरा होगा कि नहीं ये भी नहीं कहा जा सकता है.
(इनपुट- राजेंद्र मालवीय)