Bihar Politics: दरभंगा AIIMS विवाद में अब योगी की एंट्री, हुकुमदेव नारायण ने ये कहा
पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा अपने संबोधन के दौरान दरभंगा एम्स को लेकर जो बयान दिया उसके बाद से बिहार में सियासत का तापमान बढ़ गया. ट्वीटर पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडाविया और तेजस्वी यादव के बीच बयानी जंग चल रही है.
Bihar Politics: पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा अपने संबोधन के दौरान दरभंगा एम्स को लेकर जो बयान दिया उसके बाद से बिहार में सियासत का तापमान बढ़ गया. ट्वीटर पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडाविया और तेजस्वी यादव के बीच बयानी जंग चल रही है. ऐसे में अब बिहार के इस सियासी संग्राम में योगी आदित्यनाथ के नाम की एंट्री हो गई है. दरअसल मुधुबनी से भाजपा के पूर्व सांसद सह पूर्व केंद्रीय मंत्री रहे हुकुमदेव नारायण यादव ने नीतीश सरकार को इस मामले को लेकर घेरा है.
हुकुमदेव ने कहा कि किसी को कुछ पता नहीं बस सब इसपर बोल रहे हैं, यूपी में यही मंजूरी मिली होती तो योगा सरकार के कार्यकाल में कब का एम्स का निर्माण हो गया होता और वह चल भी रहा होता. वहां बुलडोजर चलता और एम्स बन गया होता.
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उन्होंने साफ कर दिया कि केंद्र की सरकार की तरफ से जब दरभंगा एम्स को मंजूरी दी गई थी तभी डीएमसीएच का सर्वे किया गया था. ऐसे में केंद्र सरकार की तरफ से दरभंगा मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल के परिसर को ही डेवलप कर एम्स बनाने की दिशा में कदम रखा गया था. ऐसा इसलिए क्योंकि DMCH के पास जमीन थी. यहां हर तरह की सुविधा भी थी. दरभंगा का रेलवे स्टेशन लगभग देश के सभी शहरों से जुड़ा हुआ है. इन सब बातों को नहीं जानते हुए सभी इस मुद्दे पर राजनीति करने में लगे हुए हैं. उन्होंने आगे कहा कि सभी गीदड़ के जैसे एक के साथ एक हुआं-हुआं करने लगते हैं.
उन्होंने कहा कि DMCH की जमीन को बड़े लोगों ने अतिक्रमण किया हुआ है. जिनका संबंध राजनेताओं से है. वहीं माले ग्रुप के लोगों ने भी यहां जमीन पर अतिक्रमण कर झुग्गी बनवा दिया है. कई बड़े महल भी बन गए. यही जमीन उत्तर प्रदेश में होती तो कब का योगी आदित्यनाथ इस पर बुलडोजर चलवाकर एम्स के लिए जमीन खाली करवा चुके होते और यहां एम्स बनकर तैयार हो गया होता.