प्रशांत किशोर ने कहा है कि सीएए (CAA) और एनआरसी के खिलाफ देशव्यापी विरोध के सामने एक सामरिक वापसी के अलावा कुछ भी नहीं है.
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पटना: जनता दल यूनाइटेड (JDU) के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर ने (Prashant Kishor) ने एक बार फिर केंद्र सरकार पर नागरिकों का राष्ट्रीय रजिस्टर (NRC) को लेकर निशाना साधा है. प्रशांत किशोर ने कहा है कि सीएए (CAA) और एनआरसी के खिलाफ देशव्यापी विरोध के सामने एक सामरिक वापसी के अलावा कुछ भी नहीं है.
उन्होंने ट्वीट कर कहा, 'अभी तक तो एनआरसी की कोई चर्चा ही नहीं हुई है' का दावा सीएए-एनआरसी के खिलाफ देशव्यापी विरोध के सामने एक सामरिक वापसी के अलावा कुछ भी नहीं है. यह एक विराम है न कि पूर्ण विराम. सरकार सीएए पर सुप्रीम कोर्ट के निर्णय तक का इंतजार कर रही है. एक अनुकूल अदालत का आदेश आने के बाद पूरी प्रक्रिया वापस आ जाएगी.'
The claim of “अभी तो NRC की कोई चर्चा ही नहीं हुई है” is nothing but a tactical retreat in the face of nationwide protest against #CAA_NRC. It is a pause and not the full stop.
Govt could wait till SC judgement on CAA. A favourable court order and the whole process will be back.
— Prashant Kishor (@PrashantKishor) December 26, 2019
वहीं, पीके के इस ट्वीट पर बीजेपी ने पलटवार किया है. बीजेपी प्रवक्ता निखिल आनंद ने कहा कि एनआरसी का कोई प्रस्ताव और बिल है ही नहीं. सिर्फ कुछ लोग इस पर चर्चा कर रहे हैं.
निखिल आनंद ने कहा कि कुछ लोग इस पर बिना वजह के हाय तौबा मचा रहे हैं. उन्होंने कहा कि बीजेपी सरकार कोई हाईड एंड सीक का खेल नहीं खेलती है. पूरी तरह से पारदर्शिता है. साथ ही सीएए का पूरा ब्यौरा सार्वजिक है.