Chatra News: चतरा नाजरेथ विद्यालय हिंदी मीडियम के दर्जनों बच्चों को प्रधानाध्यापक के द्वारा इन दिनों थर्ड डिग्री से भी अधिक टॉर्चर किया जा रहा है. बच्चे स्कूल तो जरूर जा रहें हैं, परंतु उन्हें पढ़ाने के बजाय क्लास रूम से बाहर कर दिया जा रहा है. ऐसे में पूरे दिन स्कूल के बाहर बैठे- बैठे बच्चे मानसिक अवसाद के शिकार हो रहे हैं. 


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प्रताड़ित होने वाले बच्चों की संख्या एक दो नहीं बल्कि 50 से भी अधिक है. यह प्रताड़ना उन्हें लगातार 3 दिनों से झेलनी पड़ रही और वो भी इसलिए कि उनके अभिभावकों ने उनकी फीस नहीं जमा की है. इस बाबत बच्चों के अभिभावकों ने बताया कि प्रिंसिपल के द्वारा चंद रुपयों के खातिर बच्चों को इस तरह से प्रताड़ित किया जा रहा है जो काफी निंदनीय है. 


अगर बच्चों की फीस नहीं जमा किया गई है तो उन्हें अभिभावकों के साथ बात करनी चाहिए थी. ना कि बच्चों को क्लास से बाहर निकाल देना चाहिए था. विद्यालय की प्रधानाध्यापिका मेरी ग्रेस से जब इस बाबत पूछी गई तो उन्होंने कैमरा के सामने कुछ भी बोलने से इंकार कर दिया. परंतु उसने कहा कि जब कोई बीमार होता है तो उसे डॉक्टर के पास जाना चाहिए ना कि ओझा के पास.


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उन्होंने कहा कि अभिभावक ने मीडिया के पास जाकर अच्छा नहीं किया है. वहीं जिला शिक्षा अधीक्षक ने कहा कि मामले की जानकारी नहीं थी. ऐसा हो रहा है तो बिल्कुल गलत है. बच्चों को ऐसे टॉर्चर करने का अधिकार विद्यालय को नहीं है. उन्होंने मामले की जांच कराकर दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई करने की बात कहीं है.


इनपुट- धर्मेन्द्र पाठक


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