रांची: दुमका जिला अंतर्गत रामगढ़ थाना क्षेत्र में गैंगरेप का शिकार हुई एक नाबालिग आदिवासी बालिका हॉस्पिटल में जिंदगी-मौत से जूझ रही है. दुमका ब्लड बैंक में ओ पॉजिटिव ग्रुप का रक्त उपलब्ध न होने के कारण लगातार रक्तस्राव से उसकी हालत गंभीर हो गई है. 


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इस बीच दुमका जिला पुलिस बल के एक जवान नगरदीप मंडल ने रक्तदान किया तो उसे एक यूनिट खून चढ़ाया गया है. इधर, पुलिस ने गैंगरेप के चार आरोपियों को बुधवार को गिरफ्तार कर लिया है. बता दें कि गैंगरेप की यह वारदात बीते 14 जनवरी की है, लेकिन इसकी जानकारी मंगलवार को हुई. 


खबर के मुताबिक, 14 वर्षीय नाबालिग लड़की सोहराय पर्व मनाने पास के गांव गई थी. देर शाम घर लौटने के दौरान रास्ते मे पांच लड़कों ने उसे पकड़ लिया और सुनसान इलाके में ले जाकर उसका गैंगरेप किया. जब वह बेहोश और लहूलुहान हो गई तो वे उसे वहीं छोड़कर भाग निकले. 


वहीं, होश आने पर किसी तरह घर पहुंची लड़की ने डर से अपने घर वालों को घटना की जानकारी नहीं दी. लगातार रक्तस्राव के कारण जब उसकी हालत खराब हुई तो उसने अपने साथ हुई हैवानियत की बात परिजनों को बताई. 


परिजनों ने उसे दुमका के मेडिकल कॉलेज अस्पताल में इलाज के लिए दाखिल कराया और इसके साथ ही पुलिस प्रशासन को घटना की जानकारी दी गयी. जिला प्रशासन ने पीड़िता के बेहतर इलाज के लिए एक लाख रुपए की आर्थिक सहायता दी है. दुमका के एसपी अम्बर लकड़ा के निर्देश पर मामले की जांच के लिए टीम गठित की गई है.


(आईएएनएस)