Lakhisarai DM Scolded Headmaster: बिहार के लखीसराय के डीएम संजय कुमार सिंह एक स्कूल में निरीक्षण के लिए पहुंचे थे. इस दौरान वह स्कूल के एक टीचर पर भड़क गए. बताया जा रहा है कि टीचर ने क्लास में देसी पोशाक पहनी हुई थी. अब यह मामला तूल पकड़ते जा रहा है, जिसके बाद डीएम संजय सिंह ने मीडिया के सामने पूरे मामले में अपना पक्ष रखा है. उनका कहना है कि स्कूल में निरीक्षण के दौरान कई खामियां पाई गईं थी. ऐसे में वह भड़क गए थे.


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मीडिया में रखा पक्ष


लखीसराय के डीएम संजय कुमार सिंह के स्कूल निरीक्षण के दौरान हेडमास्टर को पोशाक को लेकर लगाई फटकार का मामला तूल पकड़ते जा रहा है. डीएम संजय कुमार सिंह ने पूरे मामले पर मीडिया के सामने अपनी पक्ष रखा है. डीएम संजय कुमार सिंह ने कहा कि जब वे बालगुदर कन्‍या विद्यालय का निरीक्षण करने पहुंचे तो वहां कई तरह की खामियां पाईं.


अंधेरे में पढ़ रहे थे बच्चे


उन्होंने कहा कि स्‍कूल में बिजली की सुविधा होने के बावजूद क्‍लासरूम में बल्‍ब नहीं लगा हुआ था, ऐसे में बच्‍चे अंधेरे में पढ़ रहे थे. जब हेडमास्टर से इस पर सवाल पूछा तो वह ठीक तरीके से जवाब नहीं दे सके. इससे वह भड़क गए और शिक्षक से कहा कि पहनावे से वह टीचर नहीं, बल्कि जनप्रतिनिधि लग रहे हैं. इसी बात को लेकर डीएम संजय कुमार सिंह की आलोचना हो रही है.


छोटे से मामले का बनाया जा रहा है इश्यू


लखीसराय के डीएम ने इस मसले पर कहा कि एक छोटे से इश्‍यू का प्रचार किया गया है. वह तो अंतिम सीन (टीचर के पहनावे पर टिप्‍पणी) था. हम लोगों ने 1 घंटे तक उस स्‍कूल (बालगुदर कन्‍या विद्यालय) का निरीक्षण किया था. इस दौरान पाया कि हेडमास्‍टर के द्वारा स्‍कूल में जो व्‍यवस्‍था की जानी चाहिए थी, वह ठीक तरीके से नहीं की गई थी. यहां तक की हेडमास्‍टर के कमरे में बिजली और पंखे की सुविधा देखी, लेकिन किसी भी क्‍लारूम में लाइट और पंखा नहीं लगा था.


हेडमास्टर के कुर्ते का बटन था खुला


डीएम ने कहा कि स्‍कूल निरीक्षण के बाद जब हमलोग निकल रहे थे, हमने देखा कि हेडमास्‍टर के कुर्ते का बटन खुला हुआ है और कंधे पर गमछा रखे हुए हैं. हम लोगों ने कुर्ता ठीक करवाया और गमछा हटवाया. डीएम संजय सिंह ने कहा कि हमने उनसे (हेडमास्‍टर) यही कहा कि आपका पोशाक कहीं से शिक्षक का नहीं लग रहा है. शिक्षक समाज के लिए आदर्श होते हैं. छात्र उनको अपना आदर्श मानते हैं. कुर्ता-पायजामा से हमारा कोई विरोध नहीं है. हमने बस उनसे इतना कहा कि आपको इस तरह से रहना चाहिए कि लोगों के बीच आदर्श स्‍थापित हो सके. हालांकि, बाद में हमको भी लगा कि किसी के पोशाक पर टिप्‍पणी नहीं करनी चाहिए. मुझे उम्‍मीद है कि सोशल मीडिया पर लोग जिम्‍मेदारी से व्‍यवहार करेंगे और बस एक छोटा सा क्लिप देखकर अपनी राय नहीं बनाएंगे.
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