चंडीगढ़: मुख्यमंत्री मनोहर लाल शनिवार शाम अपने सोनीपत दौरे के दौरान बच्चों से मिलने बाल ग्राम राई में पहुंचे. मुख्यमंत्री को अपने बीच अचानक देख बच्चों की खुशी को कोई ठिकाना नहीं रहा. इस दौरान मुख्यमंत्री ने बच्चों से कहा कि बाल ग्राम राई आपके साथ-साथ मेरा भी घर है. इसलिए मैं अपने घर के बच्चों से मिलने उनके बीच पहुंचा हूं.


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इस दौरान मुख्यमंत्री ने बाल ग्राम में बच्चों को मिठाईयां भी बांटी. मुख्यमंत्री ने बाल ग्राम राई मे बच्चों के लिए उपलब्ध करवाई करवाई जा रही विभिन्न सुविधाओं के बारे में भी जानकारी ली. सीएम ने कहा कि बच्चों को यहां एक परिवार जैसा माहौल मिलना चाहिए. उन्होंने कहा कि बाल ग्राम के बच्चों की जो भी मांग होगी उसे तुरंत पूरा किया जाएगा. इस मौके पर उन्होंने हाउस मदर से भी बातचीत करते हुए बच्चों को मिलने वाली सभी सुविधाओं के बारे में जाना.


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मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने अनाथ बच्चों के पालन-पोषण के लिए हरिहर योजना शुरू की है, जिसके तहत बाल गृह में आने वाले ऐसे सभी बच्चों का पालन-पोषण और पढ़ाई का खर्च राज्य सरकार उठाएगी और 18 वर्ष की उम्र पूरी करने के बाद ऐसे युवाओं को सरकार सीधे एक्सग्रेसिया पॉलिसी में कवर करेगी और ग्रुप-सी और गुप-डी की नौकरी दी जाएगी. इसके लिए उन्हें किसी तरह के एग्जाम भी नहीं देने होंगे.


मुख्यमंत्री ने कहा कि अगर ऐसे युवा ग्रेजुएट और पोस्ट-ग्रेजुएट करते हैं तो वे क्लास-वन और क्लास-2 की नौकरी के भी हकदार होंगे, लेकिन इसके लिए उन्हें लिखित परीक्षा पास करनी होगी. ऐसे सभी युवाओं को सरकार आर्थिक रूप से पिछड़े वर्गों की कैटेगरी में रखेगी और नौकरियों में 10 प्रतिशत आरक्षण की व्यवस्था भी देगी. नौकरी के बाद संबंधित युवा या युवती की शादी होने तक उनकी सैलरी बैंक खाते में जमा होगी. अगर उसे आगे की पढ़ाई जारी रखनी है या और कोई ट्रेनिंग/कोचिंग लेनी है तो वह खाते से 20 प्रतिशत तक पैसा ही निकलवा सकेगा. बाकी का पैसा उसे एक साथ उनके विवाह के मौके पर मिलेगा. बाल ग्राम राई के बाद मुख्यमंत्री ने गांव बढ़खालसा में वीरेन्द्र तथा गांव अटेरना में पदम श्री अवार्डी कवल सिंह चौहान के घर जाकर उनसे मुलाकात की और उनका हालचाल जाना.