Panchkula Farmer Protest: आज प्रदेश भर के किसान पंचकूला सेक्टर-5 धरनास्थल पर तीन दिवसीय महापड़ाव के लिए पहुंचेंगे. अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे किसान इस 3 दिवसीय महापड़ाव में आगे के आंदोलन की रूपरेखा तैयार करेंगे.
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Panchkula News: हरियाणा के किसान एक बार फिर अपनी मांगों को लेकर बड़े आंदोलन की तैयारी में हैं. संयुक्त किसान मोर्चा (SKM) 26 नवंबर से 28 नवंबर तक तीन दिवसीय महापड़ाव किया जाएगा, जिसके लिए आज प्रदेश भर के किसान पंचकूला सेक्टर-5 धरनास्थल पर पहुंचेंगे. इस महापड़ाव में हजारों की संख्या में किसान शामिल हो सकते हैं, जिसे देखते हुए पंचकूला पुलिस प्रशासन अलर्ट मोड पर नजर आ रहा है. सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए 10 कंपनियों के 900 पुलिस कर्मचारियों को तैनात किया गया है.
पंचकूला पुलिस ने जारी किए दिशा-निर्देश
किसानों के महापड़ाव को देखते हुए पंचकूला पुलिस की तरफ से दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं. पुलिस ने हाई कोर्ट के आदेश का हवाला देते हुए कहा कि विरोध प्रदर्शन से आम जनता को किसी प्रकार की समस्या होने या सार्वजनिक सड़कों पर अवैध कब्जा कर रुकावट पैदा करने पर कानून की अवहेलना मानी जाएगी. पुलिस के दिशा-निर्देशों के बाद प्रदर्शन के दौरान प्रदर्शनकारियों की वजह से लोगों के लिए किसी प्रकार की समस्या नहीं होनी चाहिए और न ही सड़क पर जाम लगा सकते है. पंचकूला पुलिस उपायुक्त द्वारा जारी किए गए पत्र के अनुसार, प्रदर्शन निश्चित स्थान पर ही किया जाए. निर्धारित सीमा से बाहर मार्च करने पर कानून के मुताबिक आपराधिक कारवाई की जाएगी.
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शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन करेंगे किसान
पुलिस के आदेश को ध्यान में रखते हुए किसान पंचकूला के सेक्टर-5 धरनास्थल पर एकत्रित होकर शांतिपूर्वक तरीके से सरकार के विरुद्ध प्रदर्शन करेंगे. कल किसान धरना स्थल पर ही गुरु पर्व मनाएंगे और फिर 28 नवंबर को हरियाणा के राज्यपाल भंडारू दत्तात्रेय से मिलने के लिए चंडीगढ़ कूच करेंगे.
इन मांगों को लेकर किसान करेंगे प्रदर्शन
मिनिमम सपोर्ट प्राइस (MSP) गारंटी कानून को लागू करने, किसान आंदोलन के दौरान किसानों पर दर्ज मुकदमों को वापस लेने, किसान आंदोलन के दौरान जिन किसानों की मौत हुई उनके परिवार के एक सदस्य को नौकरी और मुआवजा देने, पराली जलाने के कारण किसानों पर दर्ज हुए मामलों को वापस लेने, किसान पर बकाया कर्ज और बिजली बिल माफ करने, लखीमपुर खीरी मामले में किसानों को न्याय देने सहित कई मांगों को लेकर एक बार फिर किसान अपनी आवाज बुलंद करते नजर आ रहे हैं. ऐसे में अब देखना होगा कि क्या एक बार फिर किसानों का ये प्रदर्शन किसी बड़े आंदोलन का रूप लेता है या फिर सरकार किसानों को समझाने में कामयाब होती है.
Input- Divya Rani